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मुरादाबाद : 193 गांवों में मंडराया बाढ़ का खतरा, 35 बाढ़ चौकियां बनी
सबसे अधिक सदर तहसील में बाढ़ चौकी, जिला मुख्यालय पर कंट्रोल रूम सक्रिय, 2010 में रामगंगा नदी में आई थी भीषण बाढ़, आशियाना कॉलोनी तक चली थी नाव
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मुरादाबाद, अमृत विचार। जिले में बाढ़ बचाव की तैयारियां तेज हो गई हैं। संभावित बाढ़ के लिए 193 गांव चिह्नित किए गए हैं। बाढ़ में राहत व आपदा कार्यों के लिए 35 बाढ़ चौकियां स्थापित की गई हैं। जिसमें सर्वाधिक सदर तहसील में 16 बाढ़ चौकियां हैं। जिला मुख्यालय व तहसीलों में 24 घंटे कंट्रोल रूम सक्रिय कर दिए गए हैं। इनमें बाढ़ के दौरान सहायता व सूचनाओं के आदान प्रदान के लिए मोबाइल नंबर जारी किए गए हैं।
मानसून की सक्रियता के साथ ही जिले में संभावित बाढ़ से निपटने की तैयारियां तेज हो गई हैं। 193 गांवों को संभावित बाढ़ के दायरे में चिह्नित कर रेस्क्यू के लिए तैयारी हो रही है। 35 बाढ़ चौकियां स्थापित की गई हैं। जिसमें सर्वाधिक 16 सदर तहसील में हैं। जबकि सबसे कम 3 बाढ़ चौकी बिलारी तहसील में है। 2010 में रामगंगा नदी में आई बाढ़ की विभीषिका आज भी लोगों के जेहन में है। इसे देखते हुए रामगंगा नदी के किनारे के गांवों पर प्रशासन की नजर है। उस वर्ष महानगर के आशियाना कॉलोनी में भी नाव चली थी। सिंचाई एवं बाढ़ खंड के अधिकारियों को जिला प्रशासन ने तत्परता से राहत कार्य के लिए तैयार रहने को कहा है।
तहसीलवार संभावित बाढ़ के दायरे में आने वाले गांवों की संख्या
- तहसील गांवों की संख्या
- मुरादाबाद सदर -122
- कांठ -18
- बिलारी- 23
- ठाकुरद्वारा -30
- योग -193
यह हैं नदियों में खतरे के बिंदु
- नदी खतरे का जलस्तर उच्चतम जलस्तर
- रामगंगा नदी कटघर रेलवे का पुल 190.600 मीटर 193.94 मीटर
- गागन नदी 192.00 मीटर 193.09 मीटर
- रामगंगा नदी कालागढ़ 365.300 मीटर 366.02 मीटर
तहसीलवार बाढ़ चौकियों की संख्या
- तहसील बाढ़ चौकी
- मुरादाबाद सदर -16
- कांठ -06
- बिलारी -03
- ठाकुरद्वारा -10
- योग -35
जनपद स्तरीय बाढ़ कंट्रोल रूम व नंबर
- फोन नंबर 0591-2412728
- मोबाइल नंबर 9454416867
रामगंगा नदी का बढ़ा जलस्तर, खतरे के निशान के करीब पहुंचा
पिछले तीन दिनों से उत्तराखंड के पहाड़ों पर हो रही छुटपुट बारिश से रामगंगा नदी का जलस्तर बढ़ गया है। बाढ़ खंड, अधिशासी अभियंता राजेश गंगवार ने बताया कि मंगलवार सुबह रामगंगा नदी का जलस्तर खतरे के निशान से दो मीटर नीचे रहा। रामगंगा का जलस्तर 188.04 मापा गया। सोमवार तक रामगंगा का जलस्तर 187.37 मीटर मापा गया था। जबकि खतरे का निशान 190.60 है। गनीमत है कि अभी बारिश का पानी रामगंगा में खतरे के निशान से नीचे है अगर पहाड़ों पर लगातार बारिश होती रही तो जलस्तर बढ़ने से नदी किनारे बसे कई गांव बाढ़ की चपेट में आ जाएंगे। जिससे किसानों की फसलें भी बर्बाद होंगी।
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