बदायूं: पुरानों का अता पता नहीं, नए पौधे लगाने की चल रही तैयारी
पिछले तीन साल में डेढ़ करोड़ से अधिक लगाए गए थे पौधे
बदायूं, अमृत विचार। प्रदेश सरकार के निर्देश पर एक जुलाई से जिले में पौधरोपण अभियान का शुभारंभ हो रहा है। इस साल जिले में वन विभाग सहित अन्य विभागों द्वारा 39 लाख से अधिक पौधे लगाएंगे। जिसकी तैयारी में विभागीय अधिकारी जुटे हुए हैं। पिछले तीन सालों के दौरान डेढ़ करोड़ से अधिक पौधे लगाए जा चुके हैं। इन पौधों को लगाने के बाद किसी का ध्यान नहीं गया और न ही उनकी जियो टैगिंग हुई। जिसकी वजह से पौधे पनपने से पूर्व ही दम तोड़ गए।
प्रदेश सहित जनपद में पर्यावरण को बढ़ावा देने के उद्देश्य से हर साल पौधरोपण किया जाता है। पौधा रोपण के लिए प्रशासनिक अधिकारियों के साथ समाजसेवी भी पौधा रोपण के लिए लोगों को जागरुक करते हैं। मानसून के दौरान पौधा रोपण अभियान की शुरुआत जोर शोर से की जाती है। लेकिन समय निकलने के बाद इनका रख रखाव नहीं किया जाता। दूसरा मानसून आते आते पौधे दम तोड़ देते हैं।
जीओ टैगिंग से भी पौधों में नहीं होती ग्रोथ
हर साल रोपे जाने पौधों पर नजर रखने के लिए शासन की ओर से जीओ टैगिंग की व्यवस्था की गई है। जिससे पौधे की वास्तविकता स्थिति का पता चलता रहे। लेकिन जीओ टैगिंग के बावजूद ज्यादातर पौधे सूख गए। जिन विभागों द्वारा पौधे रोपे जाते हैं वह उनकी देखभाल नहीं करते। कई विभाग तो ऐसे जिनमें पौधा रोपण के नाम पर रस्म अदायगी की जाती है। वन विभाग द्वारा दिए पौधे विभागों के परिसरों में ही सूख जाते हैं।
जो भी पौधे लगाए जाते हैं उनका रख रखाव किया जाता है। जियो टैगिंग भी कराई जाती है। अन्य विभागों की क्या स्थिति है। इसकी जानकारी कर बता पाना संभव होगा।इस बार 39 लाख से अधिक पौधे लगाए जाएंगे जिसकी तैयारी चल रही है-पीके वर्मा, डीएफओ
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