हल्द्वानी: कुमाऊं के फरार 221 अपराधियों के लिए पुलिस ने रचा ‘चक्रव्यूह’

हल्द्वानी, अमृत विचार। कुमाऊं के 221 शातिर अपराधी सालों से फरार हैं और अब इन्हें जाल में फंसाने के लिए पुलिस ने ऑपरेशन चक्रव्यूह की रचना की है। ये ऑपरेशन एक अक्टूबर से कुमाऊं के छह जिलों में एक साथ शुरू कर दिया गया है। इसके तहत सर्किल के सीओ को हर रोज तीन अपराधियों …
हल्द्वानी, अमृत विचार। कुमाऊं के 221 शातिर अपराधी सालों से फरार हैं और अब इन्हें जाल में फंसाने के लिए पुलिस ने ऑपरेशन चक्रव्यूह की रचना की है। ये ऑपरेशन एक अक्टूबर से कुमाऊं के छह जिलों में एक साथ शुरू कर दिया गया है। इसके तहत सर्किल के सीओ को हर रोज तीन अपराधियों की जन्म कुंडली डीआईजी दफ्तर में दाखिल करनी होगी।
डीआईजी नीलेश आनंद भरणे ने बताया कि कुमाऊं में मौजूद कुमाऊं के छह जिले 72 थानों और 570 बीटों में बंटे हुए हैं। हाल में 300 कांस्टेबल का हेड कांस्टेबल में प्रमोशन किया गया है। जबकि बड़ी संख्या में तबादले हुए। ये वो कांस्टेबल हैं, जो बीटों में रहते हुए अपराधियों का बही खाता रखते हैं। प्रमोशन और तबादलों से अपराधियों के बही खाते (जानकारियां) भी इधर-उधर हो गए। अब इन बही खातों को सहेजने और कुमाऊं के फरार 221 अपराधियों को दबोचना पुलिस के लिए चुनौती है। ऐसे में ऑपरेशन चक्रव्यूह की शुरुआत की गई।
इस ऑपरेशन के तहत कुमाऊं के जिलों में मौजूद सभी सर्किल के सीओ की ये जिम्मेदारी होगी कि वो हर रोज अपने क्षेत्र के तीन शातिरों का सत्यापन कराएंगे। जो मौजूद हैं वो क्या कर रहे हैं और वह कौन सा मोबाइल नंबर इस्तेमाल कर रहे हैं। इसके साथ ही यह भी देखना होगा कि वह अपनी अजीविका के लिए क्या कर रहे हैं और अनिवार्य रूप से उनकी वर्तमान फोटो ली जाएगी। इसके अतिरिक्त अगर कोई फरार है तो उसकी तलाश की जाएगी। कुल मिलाकर बीट पुलिसिंग को फिर से जिंदा करने की कवायद शुरू कर दी गई है और निशाने पर हैं अपराधी। ये अभियान 31 अक्टूबर तक चलाया जाएगा।
कुमाऊं के इन जिलों में इतने निशाने पर
हल्द्वानी। डीआईजी ने स्पष्ट किया कि कुमाऊं के हिस्ट्रीशीटर, सक्रिय और पेशेवर अपराधी, गुंडा, ऐसे अपराधी जिन पर तीन से अधिक अभियोग पंजीकृत हो व वर्तमान में जमानत पर जेल से बाहर चल रहे हों तथा ऐसे अपराधी जिनके विरुद्ध अक्सर 107/116, 151 की कार्यवाही होती रहती है, को चिन्हित किया गया है। इनमें कुल 540 अपराधी शामिल हैं। जिसमें से ऊधमसिंहनगर में 170, नैनीताल 135, अल्मोड़ा 70, बागेश्वर 35, चम्पावत 40, पिथौरागढ़ में 90 चिह्नित किए गए हैं।