मुरादाबाद : कहार ने ही लूट ली दुल्हन की पालकी, जानें पूरा मामला

मुरादाबाद : कहार ने ही लूट ली दुल्हन की पालकी, जानें पूरा मामला

मुरादाबाद,अमृत विचार। जिन कहारों के कंधे पर बहू को उसकी मंजिल तक सकुशल पहुंचाने का भार था, उन्होंने छल कर दुल्हन की ही पालकी लूट ली। विश्वासघात व भ्रष्टाचार की मोटी परतें उधेड़ने वाली महाकवि नीरज की यह रचना वर्तमान परिवेश में भी प्रासंगिक है। मुरादाबाद में जिन पुलिसकर्मियों के कंधे पर गोकशी की घटनाएं …

मुरादाबाद,अमृत विचार। जिन कहारों के कंधे पर बहू को उसकी मंजिल तक सकुशल पहुंचाने का भार था, उन्होंने छल कर दुल्हन की ही पालकी लूट ली। विश्वासघात व भ्रष्टाचार की मोटी परतें उधेड़ने वाली महाकवि नीरज की यह रचना वर्तमान परिवेश में भी प्रासंगिक है। मुरादाबाद में जिन पुलिसकर्मियों के कंधे पर गोकशी की घटनाएं रोकने की जिम्मेदारी है, उन्होंने दलालों से सांठगांठ कर ली है। मोटी रकम लेकर वह लोग थाने से छोड़े जा रहे हैं, जिनके हाथ गोवंश के खून से रंगे हैं। अपने कुकर्मों पर पर्दा डालने की कोशिश में पुलिस गंभीर मुकदमे का अल्पीकरण करने से भी गुरेज नहीं कर रही।

गोकशी के लिए कुख्यात जिले का एक थाना हफ्ते भर में दूसरी बार सुर्खियों में है। वहां तैनात एक दारोगाजी ने आठ जुलाई को एक मुकदमा दर्ज कराया। तहरीर में बताया कि 10:30 बजे वह गश्त पर थे, तभी एक गांव के आम के बागीचे में चार व्यक्तियों द्वारा गोकशी की सूचना मिली। दारोगाजी मौके पर पहुंचे। चार लोग एक बैल को बेरहमी से पीट रहे थे। पुलिस को देख गोकश भाग निकले। एक आरोपी को दबोचने में पुलिस को सफलता मिली। उसकी पहचान रामपुर के टांडा निवासी के रूप में हुई। हत्थे चढ़े अभियुक्त ने फरार साथियों के बाबत सूचना पुलिस को दी। सभी फरार अभियुक्त उसी थानाक्षेत्र के एक ही गांव के हैं। अब बात दारोगाजी के खुराफाती दिमाग की।

आरोपी की असल मंशा पहचान कर उसके खिलाफ मुकदमा पंजीकृत करने वाली पुलिस ने पल भर में खेल कर दिया। वापस घटना स्थल लौटे दारोगाजी को मौके पर एक गोवंश जीवित मिला। फर्द में उन्हेांने बताया भी है कि पशु के चारों पैर रस्सी से बंधे थे। अब दो सवाल जेहन में उठते हैं। टांडा निवासी पहला आरोपी सिर्फ गोवंशी को पीटने वहां तक पहुंचा था? यदि गोवंश की पिटाई ही उद्देश्य था, तो पशु गांव से दूर सुनसान इलाके तक क्यों ले जाया गया? सूत्रों की मानें तो पूरा खेल मुकदमे के अल्पीकरण का है। घटना स्थल से बरामद गोकशी का सामान तक पुलिस पचा गई। सभी आरोपी थाने से ही बरी हो गए। उन्हें थाने से जमानत मिल गई। पुलिस की दिली ख्वाहिश ने मुकदमे के अल्पीकरण की प्रेरणा दी। कागजी व कानूनी तौर पर पुलिस ने पूरी घटना को महज पशु क्रूरता माना।

गोली मारने की धमकी देकर कर चुके हैं वसूली
दारोगाजी के कारनामे से मुरादाबाद पुलिस की कापी भरी पड़ी है। पूर्व के थाने में धमाकेदार वक्त गुजारने के बाद करीब दो माह पहले नए थाने की बागडोर संभालने वाले दारोगाजी आरोपियों को एनकाउंटर करने की धमकी महज इसलिए देते हैं, क्योंकि उनकी जेब नोटों के बंडल से भरी जा सके। गोकशी में लिप्त एक युवक को पैर में गोली मारने की धमकी देकर उससे 80 हजार रुपये की वसूली करने की खबर चंद रोज पहले ही जिले की सुर्खी बनी। इस मामले की जांच डीआइजी ने एसपी सिटी के हाथ सौंपी है।

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