बहराइच: नाबालिग को मिला न्याय, दुष्कर्म के दोषी को कोर्ट ने सुनाई 20 साल की सजा, 53 हजार का अर्थदंड

बहराइच: नाबालिग को मिला न्याय, दुष्कर्म के दोषी को कोर्ट ने सुनाई 20 साल की सजा, 53 हजार का अर्थदंड

बहराइच, अमृत विचार। जनपद गोंडा के थाना कौडिय़ा स्थित गौसिन्हा गांव निवासी अभियुक्त को विशेष न्यायाधीश पॉक्सो की कोर्ट ने बृहस्पतिवार को नाबालिग के साथ दुष्कर्म करने के मामले में बीस वर्ष के कठोर कारावास की सजा सुनाई है।कोर्ट ने अभियुक्त को 53 हजार के अर्थदंड से दंडित भी किया है। जिले के विशेश्वरगंज थाना क्षेत्र के एक गांव निवासी पिता ने अपनी नाबालिग बेटी के अपहरण व दुष्कर्म को लेकर एसपी को वर्ष 2022 में प्रार्थनापत्र सौंपा था।

प्रार्थनापत्र में पीडि़त पिता ने कहा था कि उसकी बेटी को दो वर्ष पूर्व जनपद गोंडा के थाना कौडिया स्थित गौसिन्हा गांव निवासी पुनीत कुमार जाससवाल ने नशीला पदार्थ कर बेहोश कर दिया था। उसके बाद बेटी को वह गुजरात ले गया। वहां उसने बेटी के साथ जबरन दुष्कर्म की घटना को अंजाम दिया। इसके बाद आस-पास के लोगो को जब उसपर शक होने लगा, तो वह बेटी को बिहार के सीतामढ़ी गांव ले जाकर उसके साथ लगातार दुष्कर्म की घटना को अंजाम देता रहा।

पीड़ित पिता ने अपने पत्र में कहा था कि डेढ़ वर्ष तक लगातार दुष्कर्म की घटना को अंजाम देने के साथ आरोपी द्वारा बेटी को डराने धमकाने के लिए उसके हाथ को ब्लेड से काटकर व उसके शरीर को सिगरेट से जलाकर प्रताड़ित करता रहा।यहां भी कुछ लोगों द्वारा शक होने के बाद उसने बेटी को भगा दिया। गांव के आस-पास के लोगों ने बेटी को सुरक्षित घर पंहुचाया था।

एसपी के आदेश के बाद थाना विशेश्वरगंज की पुलिस ने आरोपी पुनीत के खिलाफ विभिन्न धाराओं में मुकदमा दर्ज कर घटना की विवेचना करते हुए आरोपपत्र कोर्ट में सौंपा था। बृहस्पतिवार को विशेष न्यायाधीश पाक्सो दीपकांत मणि की कोर्ट ने मुकदमें सुनवाई शुरू की। इस दौरान विशेष जिला शासकीय अधिवक्ता पाक्सो संतप्रताप सिंह व विशेष लोक अभियोजक पाक्सो संतोष सिंह ने घटना को गंभीर बताते हुए अभियुक्त को अधिक से अधिक सजा देने की दलील कोर्ट में पेश की थी। 

कोर्ट ने दोनों पक्षों का तर्क सुनने के बाद अभियुक्त पुनीत जायसवाल को अलग-अलग धाराओं में सजा सुनाते हुए अधिकतम बीस वर्ष के कठोर कारावास की सजा सुनाई है। कोर्ट ने अभियुक्त को 53 हजार के अर्थदंड से दंडित भी किया है। अर्थदंड की धनराशि जमा करने पर अभियुक्त को एक माह का अतिरिक्त कारावास की सजा भुगतनी होगी।

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