नैनीताल: हाईकोर्ट के आदेश के बाद बीमा कंपनी ने अधिवक्ता को दी राशि

नैनीताल: हाईकोर्ट के आदेश के बाद बीमा कंपनी ने अधिवक्ता को दी राशि

विधि संवाददाता, नैनीताल, अमृत विचार। हाईकोर्ट ने स्टार हेल्थ एलाइड इंश्योरेंस कंपनी के ग्राहक को आवश्यकता पर गैरजिम्मेदाराना और असंवेदनशील व्यवहार के आरोप में बार एसोसिएशन के पत्र का संज्ञान लेकर जनहित याचिका के रूप में सुनवाई की। बीमा कंपनी ने आदेश का अनुपालन किया, जिसके बाद कोर्ट ने जनहित याचिका को निस्तारित कर दिया है। 
सोमवार को हुई सुनवाई में बीमा कंपनी की ओर से कहा गया कि उन्होंने ग्राहक को पॉलिसी के अनुसार उपचार के लिए आर्थिक मदद कर दी है। इसको आधार मानते हुए मुख्य न्यायाधीश रितु बाहरी व न्यायमूर्ति राकेश थपलियाल की खंडपीठ ने याचिका निस्तारित कर दी।

मामले के अनुसार हाईकोर्ट बार एसोसिएशन के अध्यक्ष डीसीएस रावत व महासचिव सौरभ अधिकारी ने मुख्य न्यायाधीश की खंडपीठ के सामने पत्र पेशकर कहा था कि हाईकोर्ट के अधिवक्ता को तीन दिन पूर्व ब्रेन स्ट्रोक हुआ था। उन्हें पहले बीडी पांडे अस्पताल नैनीताल फिर कृष्णा नर्सिंग होम हल्द्वानी में भर्ती कराया गया। जहां उन्हें 72 घंटे आईसीयू में रखने के बाद मैक्स अस्पताल देहरादून में भर्ती कराया गया।

अस्पताल में 31 जुलाई को उनका ऑपरेशन किया गया। अधिवक्ता के पास स्टार हेल्थ एलाइड इंश्योरेंस कंपनी की स्वास्थ्य बीमा पॉलिसी है, लेकिन इस कंपनी ने किसी भी उचित कारण से तत्काल वित्तीय सहायता देने से इनकार कर दिया। इसकी वजह से अस्पताल में उन्हें वित्तीय समस्याओं से जूझना पड़ रहा है।

यह कंपनी का उपभोक्ता के साथ एक प्रकार की धोखाधड़ी है, जो इस कंपनी ने अपनी असंवेदनशीलता दिखाते हुए की है। जब जरूरत पड़ने पर कंपनी उपभोक्ता का साथ नहीं दे रही है तो ऐसी स्वास्थ्य पॉलिसी का फायदा नहीं है, इसलिए इसपर खंडपीठ कोई उचित निर्णय ले।