बहराइच: आउट ऑफ सीजन खाद बिक्री का देना होगा हिसाब, मिली ये कमी तो लाइसेंस होगा निरस्त 

बहराइच: आउट ऑफ सीजन खाद बिक्री का देना होगा हिसाब, मिली ये कमी तो लाइसेंस होगा निरस्त 

बहराइच, अमृत विचार। जिले में आउट ऑफ सीजन में भी जिप्सम और यूरिया की बिक्री बढ़ गई है। ऐसे में इस सीजन में खाद की अधिक बिक्री कई सवाल खड़ी कर रही है। इसको देखते हुए कृषि विभाग की ओर से स्टॉक और बिक्री राजिस्टर का मिलान किया जायेगा। अगर खाद की तस्करी नेपाल में मिला तो दुकान का लाइसेंस निरस्त कर दिया जायेगा।

जिला नेपाल सीमा से सटा हुआ है। कृषि बाहुल्य जनपद में इस समय खेतों में धान और अन्य फसलों की बोआई नहीं है। बल्कि किसान खेतों में खर पतवार नष्ट करने के लिए उसे ऐसे ही छोड़ रखा है। इसके बाद भी जिप्सम, यूरिया, पोटाश समेत अन्य खाद की बिक्री तेजी से हो रही है। खाद की खरीद फरोख्त कई सवाल खड़े कर रही है। आशंका जताई जा रही है कि भारतीय खाद्य नेपाल में बेची जा रही है। इसको देखते हुए सीमा से सटे क्षेत्रों में संचालित हो रहे खाद की दुकान का स्टॉक और बिक्री रजिस्टर का मिलान किया जायेगा।अगर खाद की बिक्री मिली और उसका अंकन नहीं मिला तो संबंधित के विरुद्ध कार्यवाई की जायेगी। कृषि विभाग को अंदेशा है कि सीमा से सटे इलाकों के दुकानदारों ने नेपाल से आने वाले लोगों को खाद बेच दी है। जिला कृषि अधिकारी सतीश कुमार पांडेय ने बताया कि अगले सप्ताह से खाद बिक्री की मिलान राजिस्टर और पास मशीन से की जायेगी। अगर खाद बिक्री की मिलान नहीं हुई तो संबंधित दुकान का लाइसेंस निरस्त कर दिया जायेगा। 

इन क्षेत्रों में आउट ऑफ सीजन बिकी खाद
जिले के विकास खंड मिहीपुरवा, नवाबगंज, रूपईडीहा, सुजौली क्षेत्र में काफी मात्रा में खाद बिक गई। जबकि यह समय बोआई का नहीं है। अभी धान और नर्सरी की बुआई के लिए लगभग एक से डेढ़ माह का समय है।

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