Kanpur: गर्भवती महिलाओं को अब टीकाकरण के लिए नहीं काटने पड़ेंगे अस्पतालों के चक्कर; करना होगा सिर्फ ये काम... पढ़ें
कानपुर, अमृत विचार। गर्भवती महिलाओं को अब टीकाकरण के लिए अस्पतालों के चक्कर नहीं काटने पड़ेंगे। वह घर के पास स्थित अस्पताल में खुद या बच्चे का टीकाकरण करा सकेंगी। इसके लिए उन्हें यू-विन पोर्टल पर पंजीकरण करना होगा। पंजीकरण के बाद ई-कार्ड जारी होगा और टीकाकरण के लिए स्लॉट बुक कराने पर उनको बार-बार अस्पताल नहीं जाना पड़ेगा। पूरे प्रदेश में 10 मार्च को पोर्टल चालू किए जाने की योजना है।
टीकाकरण कराने के लिए गर्भवती व बच्चों को अस्पतालों के चक्कर काटने पड़ते है। तिथि से पहले या बाद में पहुंचने पर उनके दिक्कतों का सामना करना पड़ता था। वहीं, स्वास्थ्य विभाग के पास भी टीकाकरण का पूरा आंकड़ा नहीं जुट पाता था। टीकाकरण का डाटा एक ही जगह एकत्र हो इसलिए केंद्र सरकार ने को-विन की तरह यू-विन पोर्टल की शुरूआत की है, जिसका संचालन अभी तक उत्तर प्रदेश में इसे पायलट प्रोजेक्ट के तहत लखनऊ व बाराबंकी जिलों में शुरू किया गया था।
जिला प्रतिरक्षण अधिकारी डॉ.यूबी सिंह ने बताया कि यू-विन आयुष्मान भारत डिजिटल मिशन, इलेक्ट्रनिक वैक्सीन इंटेलीजेंस नेटवर्क ई-विन व कोविन से लिंक है। राष्ट्रीय टीकाकरण कार्यक्रम व कोविड टीकाकरण के प्रबंधन में ई-विन और कोविन की महत्वपूर्ण भूमिका रही है। प्रदेश के दो जिलों में इसका सफल संचालन होने के बाद सरकार ने पोर्टल 10 मार्च को चालू करने की योजना तैयार की है।
13 मार्च को होने वाले नियमित टीकाकरण सत्र का डाटा इस पोर्टल पर ही दर्ज किया जाएगा। कोविन में पंजीकरण होने के बाद गर्भवती व बच्चे का देश में किसी राज्य व जिले में टीकाकरण कराना आसान होगा। इसका सबसे अधिक फायदा काम से सिलसिले से एक जिले से दूसरे जिले या एक राज्य से दूसरे राज्य जाने वाले लोगों को अधिक मिलेगा। पंजीकरण के बाद उनको एक ई-कार्ड जारी होगा। टीकाकरण के लिए स्लॉट बुक कराने के बाद उनको बार-बार अस्पताल के चक्कर भी नहीं लगाने पड़ेंगे।
ऑनलाइन बुकिंग की भी मिलेगी सुविधा
डब्ल्यूएचओ के एसआरटीएल डॉ. बीएस चंदेल ने बताया कि कोरोना काल के समय को-विन पोर्टल के माध्यम से लोगों को वैक्सीन लगवाने के लिए ऑनलाइन बुकिंग की सुविधा दी गई थी। अब उसी तर्ज पर यू-विन पोर्टल पर गर्भवती व पांच वर्ष तक के बच्चों का केंद्रों पर टीकाकरण की जानकारी देने के साथ ऑनलाइन बुकिंग की सुविधा भी होगी। टीका लगवाने का डिजिटल प्रमाण पत्र भी प्राप्त होगा। देश में कितने बच्चों व गर्भवती को टीकाकरण से वंचित है, इसकी भी जानकारी स्वास्थ्य विभाग के पास होगी।