UP: मेरी फूल सी बच्ची और बहुत प्यार करने वाली पत्नी अब नहीं है… बेटी के शव को दफनाते हत्यारे पति के छलक आए आंसू
कानपुर में पत्नी और बेटी की हत्या कर युवक ने खुद की भी हाथ की नस काट ली
कानपुर, अमृत विचार। चकेरी के कांशीराम कालोनी में कर्ज से परेशान होकर परचून दुकानदार अर्जुन जायसवाल ने पत्नी निशा और चार वर्षीय बेटी की हत्या करके खुद को भी कई जगह चाकुओं से वार कर घायल कर लिया था। हत्याकांड के तीसरे दिन बुधवार को हत्यारोपी अर्जुन ने पुलिस को बताया कि उसकी पत्नी निशा ने कभी शराब नहीं पी थी, लेकिन मरना तय करने के बाद दोनों ने एक -एक पैग रात 12 बजे पिया था।
उसके बाद भांग खाई, फिर करंट लगाकर जान देने की कोशिश की। जब करंट से भी मौत नहीं हुई तो पत्नी के कहने पर सुबह तीन बजे दूसरा पैग दोनों ने पिया।
इसके बाद वह पत्नी का गला दुपट्टे से कस रहा था कि तभी पत्नी ने पहले बेटी को मारने को कहा तो उसने पत्नी को छोड़कर बेटी की जहर देकर हत्या कर दी। बेटी को मारने के बाद अर्जुन ने पत्नी का गला दुपट्टे से घोंट दिया और उसके बाद पंखे से दुपट्टे का फंदा बनाकर जान देने की कोशिश की। दुपट्टा टूट गया तो उसने चाकू से अपने हाथ पैर की नसें काट लीं।
पुलिस अभिरक्षा में पोस्टमार्टम हाउस लाया गया अर्जुन पत्नी और बच्ची का शव देखकर फफक पड़ा। अर्जुन बोला कि मैं अभागा हूं, पत्नी की मर्जी से उसकी और बेटी की हत्या करने का निर्णय लिया था। मीडियाकर्मियों के सामने फफक कर घटना की दास्तां बता रहा अर्जुन बोला मेरी फूल सी बच्ची और बहुत प्यार करने वाली पत्नी अब नहीं है। इसके बाद पुलिस कर्मी उसे मानसिक रोग विशेषज्ञ के पास ले गए।
पत्नी के कहने पर की वारदात
पुलिस हिरासत में अर्जुन ने बताया कि उसने पत्नी के कहने पर वारदात को अंजाम दिया था। वह रात में भांग और शराब लाया था। पहले पति-पत्नी ने भांग खाई और बेटी को जहरीला पदार्थ दिया। चूंकि वह पहले मेडिकल लाइन में था लिहाजा उसे ये पता था कि कितना जहर बेटी के शरीर में काम करेगा। हत्यारोपी अर्जुन ने बताया कि उसने प्रेम विवाह किया था। शादी के बाद दोनों परिवारों ने किनारा कर लिया था। परचून की दुकान खोलने के लिए अर्जुन ने सात लाख रुपये का कर्ज लिया था, जिसकी वजह से सूदखोर उसे परेशान कर रहे थे।
अंतिम संस्कार में नहीं आए परिवारवाले
बुधवार पैनल से मां-बेटी का पोस्टमार्टम किया गया। निशा और आशवी के पोस्टमार्टम की वीडियो फोटोग्राफी कराई गई। डॉक्टरों के पैनल ने दोनों का पोस्टमार्टम किया। इससे पता चला कि निशा की दुपट्टे से गला घोंट कर हत्या की गई है, जबकि आशवी को जहर देने की आशंका है। पोस्टमार्टम के बाद निशा के शव का भैंरोघाट के विद्युत शवदाह गृह में अंतिम संस्कार किया गया वहीं आशवी को नजीराबाद थाने के सामने स्थित हिंदू कब्रिस्तान में दफनाया गया। दोनों का अंतिम संस्कार पुलिस ने कराया। कोई भी परिवार वाले शामिल नहीं हुए।