Kanpur News: नगर निगम और केडीए ने विकास से खींचे हाथ; सिर्फ कागजों में हो रहा सीमा विस्तार... जिम्मेदारों ने दिया यह तर्क...

Kanpur News: नगर निगम और केडीए ने विकास से खींचे हाथ; सिर्फ कागजों में हो रहा सीमा विस्तार... जिम्मेदारों ने दिया यह तर्क...

कानपुर, अमृत विचार। शहर के मुख्य क्षेत्रों से जनसंख्या घनत्व को कम करने के लिये सीमा विस्तार जारी है। केडीए के बाद अब नगर निगम ने भी अपनी सीमा के विस्तार के लिये सर्वे कमेटी गठित की है। अधिकारियों की मंशा है कि इन क्षेत्रों में नई योजनाओं की लांचिंग के साथ विकास को बढ़ाया जाये। लेकिन, यह इतना आसान भी नहीं है। कागजों में सीमा विस्तार के बाद जमीनों का अधिग्रहण अधिकारियों के लिये चुनौती बन सकता है। 

इसके बाद भी यदि नई योजना ले भी आए तो फंड एकत्र करने से लेकर योजना को धरातल पर उतारने तक वर्षों इंतजार करना होगा। दूसरी ओर पुराने बसे सोसाइटी क्षेत्रों में मूलभूत सुविधाओं को देना ही नगर निगम, केडीए के लिये अभी चुनौती बना हुआ है।

केडीए ने सीमा विस्तार करते हुये कानपुर नगर और देहात के 84 गांवों की जमीन को शामिल किया है। अधिकारियों का दावा है कि 20588.40 हेक्टेयर जमीन पर भविष्य में आवासीय, व्यावसायिक, औद्योगिक और शिक्षण संस्थान विकसित किया जायेगा। ताकि, इससे विकास के साथ ही रोजगार के रास्ते भी खुल सकें। 

केडीए की सीमा में कानपुर सदर तहसील के दो गांव, नर्वल तहसील के 18 गांव, बिल्हौर तहसील के 40 गांव, कानपुर देहात अकबरपुर तहसील के 11 गांव और कानपुर देहात के मैथा तहसील के 13 गांव शामिल किये गये हैं। लेकिन कागजों में सीमा विस्तार के बाद अभी तक यहां अधिकारी झांकने नहीं गये हैं। इसी तरह नगर निगम नगर निगम की सीमा विस्तार में कटरी के तीन गांव सहित 18 गांव शामिल होने की संभावना है। 

नगर आयुक्त शिवशरणप्पा जीएन ने इसके लिये अपर नगर आयुक्त (प्रथम) के नेतृत्व में कमेटी गठित कर दी है। टीम ने गांवों के क्षेत्रफल, सड़कों आदि मूलभूत सुविधाओं की स्थिति, आबादी, राजस्व का आकलन शुरू किया है। अधिकारियों का दावा है कि सीमा विस्तार होने से शहर की तरह मूलभूत सुविधाएं मिलेंगी।

सोसाइटी क्षेत्रों के बहुर सकते हैं दिन

नगर निगम ने जिन क्षेत्रों को अपनी सीमा में शामिल करने के लिये कमेटी गठित की है। वह अधिकतर सोसाइटी क्षेत्रों में आते हैं। इसमें शहर के पूर्वी क्षेत्र के नगवां, घुरुवाखेड़ा, कुरियां, जरकला, पश्चिमी क्षेत्र में मकसूदाबाद, नसेनिया, बहेड़ा, भौंतीखेड़ा, भौंती प्रतापपुर, पनका बहादुरनगर, उत्तरी क्षेत्र में गंगपुर चकबदा, सम्भरपुर, सिंहपुर कछार, गंभीरपुर कछार, नारामऊ कछार, ख्योरा कटरी और दक्षिणी क्षेत्र में मर्दनपुर, मेहरबान सिंह का पुरवा शामिल है। अभी इन क्षेत्रों में सड़क, पानी, बिजली की बड़ी समस्या है। लोग चलने के लिए चंदा कर सड़कों पर मिट्टी डलवाते हैं।

सोसायटी क्षेत्र में विकास को लेकर कमेटी गठित की है। रिपोर्ट आ जाये तो आगे प्रस्ताव बनाकर शासन को भेजेंगे। जिससे विकास कार्य का रास्ता खुल सके। - शिव शरणप्पा जीएन, नगर आयुक्त

सीमा विस्तार तो हो चुका है। नई योजनाएं कैसे ला सकते हैं इसपर बड़े अधिकारियों के साथ बैठकें होती रहती हैं। यह आसान तो नहीं है लेकिन हम एक कदम आगे बढ़ चुके हैं। शासन की दिशा निर्देश पर ही आगे कार्य होगा। - शत्रोहन वैश्य, सचिव, केडीए

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