बरेली: चुनावी साल में ‘माननीयों’ के प्रस्ताव पास होना मुश्किल

बरेली: चुनावी साल में ‘माननीयों’ के प्रस्ताव पास होना मुश्किल

बरेली, अमृत विचार। ऑमिक्रान के बढ़ते केसों के मद्देनजर भले ही आगामी विधानसभा चुनाव देरी से कराए जाने समेत कई तरह की चर्चाएं चल रही हो, लेकिन आचार सहिंता का डर माननीयों को सता रहा है। जिसकी वजह से वह निधि खर्च करने में जुट गए हैं। राजनीतिक दल मार्च में चुनाव कराने की बात …

बरेली, अमृत विचार। ऑमिक्रान के बढ़ते केसों के मद्देनजर भले ही आगामी विधानसभा चुनाव देरी से कराए जाने समेत कई तरह की चर्चाएं चल रही हो, लेकिन आचार सहिंता का डर माननीयों को सता रहा है। जिसकी वजह से वह निधि खर्च करने में जुट गए हैं। राजनीतिक दल मार्च में चुनाव कराने की बात कह रहे हैं। ऐसे में जनवरी के दूसरे सप्ताह में आचार संहिता लगने की पूरी संभावना है।

सूत्रों की मानें तो समस्त विधायकों ने आगामी चुनाव को देखते हुए सड़क, स्ट्रीट लाइट, बरातघर आदि के प्रस्ताव इतने अधिक दिए कि धनराशि भी कम पड़ जाती। इसकी वजह यह है कि कोरोना काल में विधायक अपनी निधि से वंचित थे। इसलिए 2 सालों के प्रस्ताव एक ही साल में दे दिए थे। विभाग ने समय के अनुरूप इनमें छंटनी कर प्रस्ताव तय किए।

ऐसे में कई प्रस्ताव अधूरे रह जाएंगे। अफसरों की मानें तो अगर चुनावी साल नहीं होता तो संभव था कि इस साल भी सांसद निधि की तरह विधायक निधि नहीं मिलती लेकिन इस बार विस चुनाव नजदीक होने से उनको निधि के 3-3 करोड़ रुपये मिले हैं।

3 करोड़ में 40 लाख कट जाएगी जीएसटी
विधायक निधि के रूप में विधायकों को तीन करोड़ रुपये मिल रहे हैं। इसमें 40 लाख रुपये जीएसटी में चले जाएंगे। इस तरह वह अपने प्रस्तावित कार्य केवल 2.60 करोड़ में ही करवा पाएंगे। प्रस्तावों को देखते हुए चुनावी साल में विधायकों को इससे क्षेत्र में हर प्रस्ताव पास करा पाना मुश्किल भरा होगा। एक सीमा में ही उनके प्रस्तावों को शामिल किया जा सकेगा।

सड़कें, टीनशेड, स्ट्रीटलाइट, बरातघर के प्रस्ताव सबसे अधिक
विधायक निधि के विधायकों से जो प्रस्ताव विभाग को भेजे गए हैं उनमे सबसे अधिक सड़क निर्माण को लेकर हैं। शहर व कैंट विधायक के प्रस्ताव में सबसे अधिक सीसी, इंटरलाकिंग और स्ट्रीट लाइट हैं ताकि नगर पालिका और नगर पंचायतों में इनका रख-रखाव ठीक ढंग से हो सके। अन्य विधायकों ने भी सड़क, गांवों को रोशनी से जगमग करने को स्ट्रीट लाइटें, गांव वालों की सुविधाओं के लिए टीनशेड, बारातघर आदि के प्रस्ताव भेजे हैं। शहरी क्षेत्रों को विधायकों ने स्ट्रीट लाइटों के प्रस्ताव किए हैं।

माननीयों के प्रस्ताव के अनुरूप विकास कार्यों को स्वीकृति दी जाती है। बरेली जनपद को प्रदेश के कई अन्य जनपदों के मुकाबले रिकार्ड बेहतर है। इस समय जो भी प्रस्ताव मिले हैं, नियमानुसार स्वीकृति दी जा रही है। -तेजवंत सिंह, पीडी डीआरडीए