लखनऊ: केजीएमयू में 16वां लिवर प्रत्यारोपण सफल, स्वस्थ होकर घर लौटी महिला

लखनऊ: केजीएमयू में 16वां लिवर प्रत्यारोपण सफल, स्वस्थ होकर घर लौटी महिला

लखनऊ। केजीएमयू में बीते दिनों हुआ 16 वां लिवर ट्रांसप्लांट सफल रहा है। जिस मरीज के लिवर लगाया गया था, उसे आज डाक्टरों ने छुट्टी दे दी है। इस प्रत्योरोपण में खास बात यह रही कि ब्रेन डेड शख्स का लिवर 49 वर्षीय महिला मरीज को लगाया गया था। लिवर ट्रांसप्लांट के दौरान 100 से …

लखनऊ। केजीएमयू में बीते दिनों हुआ 16 वां लिवर ट्रांसप्लांट सफल रहा है। जिस मरीज के लिवर लगाया गया था, उसे आज डाक्टरों ने छुट्टी दे दी है। इस प्रत्योरोपण में खास बात यह रही कि ब्रेन डेड शख्स का लिवर 49 वर्षीय महिला मरीज को लगाया गया था। लिवर ट्रांसप्लांट के दौरान 100 से अधिक डॉक्टरों व स्वास्थ्य कर्मचारियों ने अहम भूमिका अदा की थी। बताया जा रहा है कि केजीएमयू का यह 16वां सफल लिवर ट्रांसप्लांट है।

केजीएमयू दुनिया भर के एडवांस सेंटरों में अपना स्थान बनाने में कामयाब रहा है। इतना ही नहीं केजीएमयू उत्तर प्रदेश का एक मात्र ऐसा संस्थान हैं जहां पर 50 से अधिक अंगों का प्रत्यारोपण किया गया है। भारत में प्रति वर्ष 2 लाख से अधिक रोगी लीवर सिरोसिस से पीड़ित होते हैं। जिनमें से केवल 2000 मरीजों का लिवर प्रत्यारोपण हो पाता है। इनमें से अधिकांश मामले शराब का दुरुपयोग, मधुमेह, वायरल संक्रमण या प्रतिरक्षा विकार के कारण होते है।

लिवर प्रत्यारोपण में इतना आता है खर्च

बताया जा रहा है कि निजी संस्थानों में लिवर प्रत्यारोपण का खर्च जहां 30 से 40 लाख के करीब आता है वहीं केजीएमयू में यह खर्च 8 लाख के करीब बताया जा रहा है। वहीं कम आय वाले रोगियों के लिए सरकार द्वारा चलाई जा रही योजनाओं के तहत यह खर्च और कम हो जाता है,जिससे गरीब मरीज का इलाज भी संभव हो रहा है,बताया जा रहा है।

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