लखीमपुर खीरी: संदिग्ध पाउडर में नहीं मिला विस्फोटक, पुलिस दबाए बैठी थी रिपोर्ट
भारत-नेपाल सीमा पर पकड़े गए संदिग्ध पाउडर का मामला
पलिया कलां,अमृत विचार। भारत-नेपाल सीमा पर बंसीनगर पुलिस चौकी के पास डीसीएम में पकड़े गए संदिग्ध पाउडर की विधि विज्ञान प्रयोगशाला से आई रिपोर्ट को पुलिस हफ्ते भर से दबाए बैठी थी। रिपोर्ट के मुताबिक पकड़े गए संदिग्ध पाउडर में कोई विस्फोटक अवयव नहीं मिला है। पुलिस अब जांच रिपोर्ट के आधार पर आगे की कार्रवाई शुरू कर दी है।
बतादें कि पलिया सीओ यादवेंद्र ने करीब दो महीने पहले भारत-नेपाल सीमा पर स्थित बंसीनगर पुलिस चौकी के पास एक डीसीएम को रोककर तलाशी ली थी। इस दौरान पुलिस ने डीसीएम में 360 बोरों में संदिग्ध पाउडर बरामद किया था। पूछताछ के बाद मशानखंभ स्थित एक गोदाम से तीन बोरे संदिग्ध पाउर भी बरामद हुआ था। बोरियों पर सोडा एस, भर्ती 50 किलोग्राम और मेड इन चाइना लिखा था। पुलिस ने एक ग्राम प्रधान, ट्रक चालक समेत सात लोगों को हिरासत में लेकर पूछताछ की थी। खुलासा करते हुए पुलिस ने चंदन चौकी निवासी मुकेश बंसल, बुद्धापुरवा मजरा रामनगर निवासी विजय कुमार गुप्ता, चंदनचौकी निवासी प्रदीप बसंल और बरेली के थाना सीबीगंज के गांव परसाखेडा गौटिया निवासी डीसीएम चालक किशुन पाल को गिरफ्तार कर चालान भेजा था। नेपाल से तस्करी कर लाया गया संदिग्ध पाउडर दिल्ली निवासी सुनील कुमार के पास भेजा जा रहा था। दिल्ली निवासी सुनील कुमार ने पुलिस से बचने के लिए फर्जी बिल बनवाने में अहम भूमिका निभाई और अपने बचाव में गुप्ता ट्रेडिंग कंपनी चन्दनचौकी से साश्वत इन्टरप्राइजेज विकास नगर सोनीपत हरियाणा भेजने के लिए 31 अगस्त को बिल तैयार कराया था और माल लादकर डीसीएम लेकर दिल्ली जा रहे थे।
जांच को दिल्ली भेजे गए थे सैंपल
पुलिस ने बरामद संदिग्ध पाउडर का जांच के लिए विधि विज्ञान प्रयोगशाला आगरा भेजा था। लैब से करीब एक हफ्ते पहले जांच रिपोर्ट आ गई थी, लेकिन पुलिस उसे दबाए बैठी रही। जांच रिपोर्ट के मुताबिक संदिग्ध पीले पाउडर में विस्फोटक अवयव के रूप में नहीं पाया गया है। हालांकि उसमें भौतिक व रासायनिक विधियां प्रयोग किए जाने का खुलासा हुआ है। यादवेंद्र यादव सीओ पलिया ने बताया कि विधि विज्ञान प्रयोगशाला से जांच रिपोर्ट आ गई है। बरामद संदिग्ध पाउडर में विस्फोटक अवयव नहीं मिले हैं। विशेषज्ञों की राय लेकर आगे की कार्रवाई की जाएगी।