अयोध्या: बच्चों को नहीं बांटा फल और दूध, 100 प्रधानों को नोटिस जारी, बीईओ और प्रधानाध्यापक भी कार्रवाई की जद में

परिषदीय विद्यालयों में बच्चों को फल और दूध देने का मामला 

अयोध्या: बच्चों को नहीं बांटा फल और दूध, 100 प्रधानों को नोटिस जारी, बीईओ और प्रधानाध्यापक भी कार्रवाई की जद में

अयोध्या, अमृत विचार। परिषदीय विद्यालयों में मध्याह्न भोजन योजना के तहत बच्चों को मिलने वाले फल व दूध को प्रधान नहीं बंटवा रहे हैं। जिले में 94 से अधिक विद्यालयों में जुलाई में दूध व फल नहीं बंटा था। जांच में मामला सामने आने के बाद बीएसए की रिपोर्ट पर डीपीआरओ ने इन 100 प्रधानों को नोटिस जारी कर स्पष्टीकरण तलब किया है।

इस मामले में खंड शिक्षा अधिकारी और प्रधानाध्यापक भी कार्रवाई की जद में आ गए हैं। यह हाल तब है जब मिड डे मील के तहत दी जाने वाली धनराशि में फल और दूध की धनराशि जोड़ कर निर्गत की गई थी। वहीं अगस्त में भी पांच स्कूलों में फल और दूध का वितरण न किए जाने के मामले सामने आए हैं लेकिन अभी खंड शिक्षा अधिकारियों ने बीएसए को रिपोर्ट नहीं भेजी है।

मध्याह्न भोजन योजना के तहत बच्चों को मीनू के अनुसार हर दिन पौष्टिक भोजन दिए जाने के साथ ही निर्धारित तिथि को दूध व फल दिए जाने का प्रावधान है। इसमें प्राथमिक विद्यालय पर 5.45 रुपये व उच्च प्राथमिक विद्यालय पर 8.17 रुपये प्रति बच्चे की दर से धनराशि भेजी जाती है। इसके साथ ही दूध व फल का पैसा अलग से भेजा जाता है।

एमडीएम का हिसाब प्रधान व प्रधानाध्यापक के संयुक्त खाते से संचालित होता है। लेकिन कुछ गांवों में प्रधान मनमानी करते हैं और दूध तथा फल का वितरण नहीं करते हैं। इसको लेकर प्रधानाध्यापकों से अनबन रहती है। जुलाई में 94 विद्यालयों में दूध व फल नहीं वितरित किया गया। इसकी रिपोर्ट बीएसए ने डीपीआरओ को दी। इसके क्रम में डीपीआरओ ने इन प्रधानों को नोटिस जारी कर स्पष्टीकरण तलब किया है।

बताया जाता है कि मिल्कीपुर, सोहावल, बीकापुर, रुदौली और अमानीगंज ब्लाक क्षेत्र के इन प्रधानों ने जुलाई में धनराशि होने के बाद भी फल और दूध का वितरण नहीं कराया। क्षेत्रीय लोगों की शिकायत पर बेसिक शिक्षा अधिकारी द्वारा जांच कराई गई तो मामला सही पाया गया।

बताया जाता है फल और दूध के लिए मिलने वाली धनराशि में हर माह घालमेल किया जा रहा है। जबकि शासन का स्पष्ट आदेश है कि पौष्टिक आहार के तहत मिड डे मील के अतिरिक्त फल दूध और अन्य पौष्टिक पदार्थ बच्चों को मध्यान्ह भोजन से पहले ही दिए जाए। अगस्त में भी पांच मामले प्रकाश में आए हैं लेकिन रिपोर्ट न होने की वजह से अभी कोई कार्रवाई नहीं हुई है। 

बच्चों को मध्यान्ह भोजन योजना के अतिरिक्त फल और दूध दिए जाने का प्रावधान है। जिन ब्लाकों के प्रधानों द्वारा वितरण नहीं कराया गया था रिपोर्ट डीपीआरओ को भेजी गई थी। उसी क्रम में नोटिस जारी किया गया है... संतोष कुमार राय, बेसिक शिक्षा अधिकारी।

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