Bareilly News: खोदाई में मिले प्राचीन मूर्ति के अवशेष, 1500 साल पुराने गुप्तकालीन होने का दावा
बरेली, अमृत विचार। बरेली जनपद में मकान निर्माण के लिए नींव खोदाई के दौरान प्राचीन मूर्ति के अवशेष मिले हैं। जिसे इतिहासकारों ने गुप्तकालीन के अवशेष होने की संभावना जाहिर की है। वहीं खंडित मूर्ति के अवशेष के साथ ही 3 फीट गहराई में कई घड़े भी मिले हैं।
जिसकी सूचना के बाद मौके पर पहुंची तहसील के अधिकारियों की टीम ने मूर्ति के अवशेष को ग्राम प्रधान की सुपुर्दगी में सुरक्षित रखवा दिया है। इसके साथ ही संबंधित स्थान पर खोदाई को रुकवा दिया गया है।
दरअसल, मामला फरीदपुर थाना क्षेत्र के पचौमी गांव का है। जहां सत्यपाल नाम का एक ग्रामीण मकान बनाने के लिए नींव की खोदाई कर रहा था। इस दौरान उसे एक खंडित मूर्ति दिखाई दी जो जमीन में तीन फीट गड़ी हुई थी। खोदाई में प्राचीन मूर्ति निकलने की खबर लगते ही मौके पर गांव के लोग इकट्ठे हो गए। वहीं सूचना पर पहुंचे ग्राम प्रधान पति पंकज मिश्रा ने मामले से तहसील के अधिकारियों को अवगत कराया।
इसके बाद एसडीएम ने मौके पर पहुंचकर मुआयना किया। इसके साथ ही पुरातत्व विभाग को अवगत कराया गया। वहीं आज पुरातत्व विभाग के अधिकारियों ने गांव पहुंचकर खंडित मूर्ति के अवशेष ग्राम प्रधान के सुपुर्द कर सुरक्षित रखवा दिए हैं। इसके साथ ही संबंधित स्थान पर खोदाई कार्य रुकवा दिया है। आगे खुद की देखरेख में खोदाई कराने की बात कही है। इन अवशेषों को लेकर इतिहासकारों का दावा है कि यह पाषाण खंडित मूर्ति 1500 साल से अधिक पुरानी गुप्तकाल की हो सकती है।
वहीं इन प्राचीन मूर्ति अवशेषों को लेकर रुहेलखंड विश्वविद्यालय के प्राचीन इतिहास एवं संस्कृति विभाग के अध्यक्ष प्रोफेसर डॉ. श्याम बिहारी लाल का कहना है कि पचौमी गांव में प्राचीन मूर्ति के जो खंडित अवशेष मिले हैं, वह मूर्ति के चरण हैं। पूरा हिस्सा नहीं मिला है। यह मूर्ति अवशेष गुप्तकाल के हैं।
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