बरेली: दलहन, तिलहन पर करें फोकस, देश बनेगा आत्मनिर्भर

कृषि मंत्री शाही ने गोष्ठी में किसानों से की चर्चा, बोले- इसकी खेती से विदेशों के भरोसे नहीं रहना पड़ेगा

बरेली: दलहन, तिलहन पर करें फोकस, देश बनेगा आत्मनिर्भर

बरेली, अमृत विचार : धान, गेहूं समेत अन्य पारंपरिक फसलों से हटकर किसान दलहन और तिलहन की खेती करें। किसान दूसरे देशों से इन फसलों निर्यात को कम करके अपने देश का आत्मनिर्भर बना सकते हैं। यह बातें प्रदेश के कृषि मंत्री सूर्य प्रताप शाही ने गुरुवार को आईवीआरआई के प्रेक्षागृह में बरेली, आगरा और अलीगढ़ मंडल के किसानों की रबी उत्पादकता गोष्ठी में कहीं।

उन्होंने पहले की सरकारों पर तंज कसते हुए कहा कि कई जिलों में इफको की फैक्ट्री होने पर भी किसानों को खाद के लिए पुलिस की लाठियां खानी पड़ती थीं। इसके बाद भी उनको खाद नहीं मिलती थी। जब से केंद्र और प्रदेश में भाजपा की सरकार बनी है। सभी को समय से खाद मिल रही है। पहले अधिकांश चीनी मिलों पर तीन-तीन साल का बकाया भुगतान भी तीन चरणों में किया जाता था। अब ऐसा नहीं है। सपा सरकार में 113 चीनी मिलें चालू थीं तो अब 118 हैं। कृषि मंत्री से किसानों ने गन्ने की एक प्रजाति का गन्ना बोने से होने वाले नुकसान को के बारे में कहा तो मंत्री ने कहा गन्ना वैज्ञानिकों से वार्ता कर अच्छी वैरायटी का गन्ना बीज उपलब्ध कराया जाएगा। गोष्ठी से पहले कृषि मंत्री व अन्य अधिकारियों ने प्रगतिशील किसानों की ओर से उत्पादकता के लगाए गए स्टॉल का भी निरीक्षण किया। 

कृषि मामले में प्रदेश विश्व में सबसे मजबूत : कृषि उत्पादन आयुक्त मनोज कुमार सिंह ने गोष्ठी में कहा कि प्रदेश कृषि के मामलों में पूरे विश्व में मजबूती से काम कर रहा है। यूपी में पूरे देश का 35 प्रतिशत गेहूं पैदा होता है। यहां की जलवायु गेहूं के साथ ही अन्य फसलों के लिए भी अनुकूल है। यूपी में 75 प्रतिशत हिस्से पर खेती होती है। देश का 20 प्रतिशत गेहूं उत्पादन उत्तर प्रदेश में पैदा होता है। उन्होंने किसानों से हाईब्रिड एवं उन्नत किस्म के बीजों का इस्तेमाल कर पैदावार बढ़ाने की सलाह दी। किसानों के नलकूप कनेक्शन काटने की शिकायत पर कहा कि जो कनेक्शन 31 मार्च के बाद कटवाए गए हैं वह तत्काल जोड़े जाएं।

डीएम बोले-जमीन बेचकर कराएंगे किसानों का भुगतान: बहेड़ी के किसानों ने गोष्ठी में बहेड़ी चीनी मिल के अफसरों को घेरा। कहा कि पिछले सत्र का करोड़ों रुपये चीनी मिल दबाए बैठी हैं। यह स्थिति हर साल सामने आती है। इस पर जिलाधिकारी रविंद्र कुमार ने किसानों को आश्वस्त किया कि उन्होंने चीनी मिल जाकर अफसरों से वार्ता की है। शीघ्र ही चीनी मिल की जमीन बेचकर किसानों को बकाया शत प्रतिशत भुगतान करा दिया जाएगा।

मुफ्त राशन वितरण से नहीं मिल रहे मजदूर: बहेड़ी के राकेश गंगवार ने कहा कि सरकार के मुफ्त राशन वितरण के कारण किसानों को खेत में काम करने वाले श्रमिक नहीं मिल रहे हैं। इसके कारण किसान समय से अपनी फसल की बुवाई, कटान, गहाई, गुड़ाई और निराई नहीं कर पा रहा है। इसका सीधा नुकसान फसल उत्पादन पर पड़ रहा है। उन्होंने मुफ्त राशन वितरण व्यवस्था को बंद करने की मांग की।

गोष्ठी को इन्होंने भी किया संबोधित: गोष्ठी को सचिव व कृषि विभाग के निदेशक डाॅ. राज शेखर, रेशम विभाग के निदेशक सुनील कुमार वर्मा, उद्यान एवं खाद्य प्रसंस्करण विभाग के निदेशक अतुल कुमार, मंडलायुक्त सौम्या अग्रवाल, मंडलायुक्त अलीगढ़ रविंद्र कुमार, प्रगतिशील किसान सर्वेश गंगवार, तेजपाल, रविंद्र, चंद्रपाल आदि ने संबोधित किया। इसके अलावा समस्त जिलों के सीडीओ, संयुक्त निदेशक उद्यान, उप निदेशक कृषि, जिला कृषि अधिकारी व अन्य विभागों के अधिकारी और किसान मौजूद रहे।