हल्द्वानी: बात से बचा ‘खादी’ और ‘खाकी’ का सम्मान

सर्वेश तिवारी, हल्द्वानी। राज्य में घोटालों की सुगबुगाहट में विपक्ष को संजीवनी नजर आ रही है। महाआक्रोश रैली के बहाने भी विपक्ष एकजुट नजर आया, लेकिन इजाजत के तहत आक्रोश बीडी पंत पार्क से बाहर नहीं निकल सकता था। हालांकि दिन चढ़ने के साथ युवा आक्रोश विपक्ष की छांव में उग्र हो रहा था, लेकिन …
सर्वेश तिवारी, हल्द्वानी। राज्य में घोटालों की सुगबुगाहट में विपक्ष को संजीवनी नजर आ रही है। महाआक्रोश रैली के बहाने भी विपक्ष एकजुट नजर आया, लेकिन इजाजत के तहत आक्रोश बीडी पंत पार्क से बाहर नहीं निकल सकता था। हालांकि दिन चढ़ने के साथ युवा आक्रोश विपक्ष की छांव में उग्र हो रहा था, लेकिन उसे पता था कि इजाजत की अवेहलना का अंजाम भी भुगतना होगा। इससे आने वाले नतीजों से पुलिस-प्रशासन भी वाकिफ था और ऐसे में दोनों ने बीच का रास्ता निकाला और एक-एक कदम पीछे खींच कर ‘खादी’ और ‘खाकी’ ने अपना सम्मान बचा लिया।
यूकेएसएसएससी में हुए घोटाले की जांच राज्य सरकार ने शुरू करा दी है, लेकिन विपक्ष सीबीआई मांग पर अड़ा है। बुधवार को हल्द्वानी में भी उत्तराखंड युवा एकता मंच ने महाआक्रोश रैली का उद्घोष कर दिया और पूरे राज्य से लोगों को आमंत्रित किया। उम्मीद के अनुसार सुबह साढ़े आठ बजे से ही छात्र नेताओं का एमबीपीजी कॉलेज के सामने और बीडी पंत पार्क में जमा होना शुरू हो गया। मौके पर तीन कंपनी पीएसी के साथ कुमाऊं का पुलिस बल जमा हो गया।
पंत पार्क से लेकर तिकोनिया तक हर रास्ते पर चौकसी कड़ी कर दी गई। दोपहर का सूरज चढ़ते-चढ़ते पंत पार्क में चंद लोगों की संख्या हुजूम में तब्दील होने लगी। नेता प्रतिपक्ष यशपाल आर्या और स्थानीय विधायक सुमित हृदयेश के साथ तमाम दलों व संगठनों के लोग सीबीआई जांच की मांग को लेकर राज्य सरकार को घेरने की कोशिश में जुट गए।
मंच के युवा पंत पार्क से जुलूस की शक्ल में एसडीएम कोर्ट तक जाना चाहते थे, लेकिन इसकी अनुमति पुलिस ने नहीं दी। बावजूद इसके आशंका जताई गई कि विपक्ष से मिले समर्थन के बाद युवा जुलूस जरूर निकालेंगे। दोपहर बाद जब पंत पार्क में प्रदर्शनकारियों का संख्या बल बढ़ने लगा तो एसपी क्राइम डॉ.जगदीश चंद्र, एसपी सिटी हरबंस सिंह, सीओ सिटी भूपेंद्र सिंह धौनी और शहर कोतवाल हरेंद्र चौधरी पंत पार्क के भीतर पहुंचे।
यहां एसपी क्राइम डॉ.जगदीश चंद्र ने नेता प्रतिपक्ष यशपाल आर्या से निवेदन किया कि एसडीएम को पार्क में बुला कर ज्ञापन सौंद दिया जाए। इस पर नेता प्रतिपक्ष ने प्रदर्शनकारियों से बात की, लेकिन वह एसडीएम कोर्ट तक रैली निकालने पर अड़े रहे। इस पर सहमति नहीं बनी तो अंतत: तय हुआ कि एसडीएम कोर्ट के बजाय तिकोनिया बुद्धपार्क तक शांति पूर्वक रैली निकाल कर वहीं एसडीएम को ज्ञापन दे दिया जाएगा और इस फैसले से दोनों पक्षों ने अपना सम्मान बचा लिया।
प्रदर्शनकारियों को निहत्थी पुलिस का शांति संदेश
हल्द्वानी। पुलिस हर तरह के आक्रोश से निपटने के लिए तैयार थी, लेकिन उसकी मंशा कुछ और ही थी। पुलिस बस सुबह से ही कॉलेज और आस-पास तैनात था, लेकिन निहत्था। किसी प्रदर्शन में पहली बार पुलिस को बगैर लाठी और हथियार के देखा गया और इससे पुलिस संदेश दिया कि वह किसी भी तरह के बल प्रयोग के इरादे में नहीं है और प्रदर्शनकारी भी उसी तरह सहयोग करें। हालांकि हुआ भी ऐसा ही और सब कुछ शांतिपूर्वक निपट गया।
पुलिस की संख्या के बराबर भी नहीं थे प्रदर्शनकारी
हल्द्वानी। बीडी पंत पार्क को पुलिस ने चारों और से घर रखा था। कॉलेज गेट के बाहर भी पुलिस बल तैनात था। विधायक सुमित हृदयेश के घर पर भी पुलिस तैनात थी। इसके अलावा नैनीताल बीडी पंत पार्क तक जाने वाले हर रास्ते पर पुलिस की नजर थी और तिकोनिया पर पुलिस ने मानव बेरीकेड किया था। मजबूती के लिए बीच सड़क दमकल वाहन भी खड़ा किया। कुल मिलाकर प्रदर्शनकारियों से कहीं अधिक संख्या पुलिस की थी।