कानपुर: नितिन गडकरी के हाथों पुरस्कृत हुए एनएसआई निदेशक

कानपुर, अमृत विचार। राष्ट्रीय शर्करा संस्थान (एनएसआई) के निदेशक प्रो. नरेंद्र मोहन को सड़क परिवहन एवं राज्यमार्ग मंत्री नितिन गडकरी ने कोजेनरेशन दक्षता पुरस्कार से नवाजा है। यह सम्मान उन्हें देश भर की चीनी मिलों और डिस्टीलरी उद्योगों को उनके अपने संसाधनों से बिजली तैयार करने में सहयोग के लिए मिला है। प्रो.नरेंद्र मोहन के …
कानपुर, अमृत विचार। राष्ट्रीय शर्करा संस्थान (एनएसआई) के निदेशक प्रो. नरेंद्र मोहन को सड़क परिवहन एवं राज्यमार्ग मंत्री नितिन गडकरी ने कोजेनरेशन दक्षता पुरस्कार से नवाजा है। यह सम्मान उन्हें देश भर की चीनी मिलों और डिस्टीलरी उद्योगों को उनके अपने संसाधनों से बिजली तैयार करने में सहयोग के लिए मिला है। प्रो.नरेंद्र मोहन के निर्देशन में संस्थान ने शिक्षा, शोध के साथ ही चीनी उद्योग और किसानों की आय बढ़ाने में तकनीकी मदद की है। यह सम्मान पुणे में आयोजित समारोह में दिया गया, जहां महाराष्ट्र के पूर्व मुख्यमंत्री शरद पवार भी मौजूद रहे।
देश की चीनी मिलें गन्ने की खोई और अन्य अपशिष्टों से हरित तरीके से बिजली उत्पादन कर रही है। इससे न सिर्फ उनकी खपत कम हुई, बल्कि राष्ट्रीय ग्रिड को 4000 मेगावाट तक बिजली मुहैया कराई जा रही है। एनएसआई ने पिछले तीन से चार में गन्ने की खोई से सह उत्पाद तैयार कराए हैं, जिसमें डाइटरी प्रोडक्ट जैसे बिस्कुट, केक आदि विकसित किए। गन्ने की बेकार बचने वाली खोई से टेबल, कप बोर्ड, प्लेट और अन्य उत्पाद तैयार कराए। मिल की राख से जैविक खाद तैयार कराई। कुछ का तो पेटेंट भी हुआ है। एनएसआई कि तकनीक को देखते हुए कीनिया, अफ्रीका समेत कई देशों की चीनी संस्थानों ने करार किया है। वहां के तकनीशियन और छात्र ऑनलाइन और संस्थागत प्रशिक्षण ले रहे हैं। प्रो. नरेंद्र मोहन की उपलब्धि पर उन्हें बधाईयां मिल रही हैं। उन्हें पहले भी कई राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय पुरस्कार मिल चुके हैं।
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