रामपुर : ‘किला रियासत की शान था, अब दिखने लगा वीरान सा’

रामपुर : ‘किला रियासत की शान था, अब दिखने लगा वीरान सा’

रामपुर, अमृत विचार। किले का पुनर्निर्माण नवाब हामिद अली खां ने 1825 से 1905 तक दोबारा कराया था। 15 मई 1949 को मर्जर एग्रीमेंट पर नवाब रजा अली खां के हस्ताक्षर के बाद रामपुर राष्ट्रीय धरोहर बन गया। इसके बाद किले की खूबसूरती पर दाग लगते गए और उन दागों को मिटाने के लिए कोई …

रामपुर, अमृत विचार। किले का पुनर्निर्माण नवाब हामिद अली खां ने 1825 से 1905 तक दोबारा कराया था। 15 मई 1949 को मर्जर एग्रीमेंट पर नवाब रजा अली खां के हस्ताक्षर के बाद रामपुर राष्ट्रीय धरोहर बन गया। इसके बाद किले की खूबसूरती पर दाग लगते गए और उन दागों को मिटाने के लिए कोई पहल नहीं हुई। अलबत्ता, ऐतहासिक किले को बर्बाद होते देख पूर्व सांसद बेगम नूरबानो और पूर्व मंत्री नवाब काजिम अली खां ने कोर्ट में याचिका दायर की थी। जिसमें कहा गया है कि प्रशासन ऐतिहासिक धरोहर को नष्ट कर उसका स्वरूप बदलना चाहता है। हालांकि, विशेषज्ञ रामपुर किले से अतिक्रमण साफ कराए जाने और पुरातत्व विभाग को सौंपने की मांग कर रहे हैं। कह रहे हैं कि जो किला कभी रियासत की शान रहा हो और अब सरकार के कब्जे में होकर वीरान सा दिखने लगा है यह बड़े अफसोस की बात है।

उपेक्षा का दर्द

  • भारत के स्वतंत्र होने के बाद से बदहाल होता गया किला, 1825 से 1905 तक रामपुर किले का हुआ का निर्माण
  • किले को बर्बाद होते देख पूर्व सांसद बेगम नूरबानो ने दायर की थी याचिका
  • राष्ट्रीय धरोहर में सेंधमारी, विशेषज्ञों ने की पुरातत्व विभाग को देने की मांग

रामपुर की आन-बान-शान माने जाने वाला किला सौ साल से ज्यादा समय का इतिहास अपने में समेटे हुए है। किले को तामीर कराने में अस्सी साल का वक्त लग गया था। ऐतिहासिक किले बदहाली देख पूर्व सांसद बेगम नूरबानो और उनके बेटे नवेद मियां ने कोर्ट में जो याचिका दायर थी। इसका पुनर्निर्माण नवाब हामिद अली खां ने 1825 से 1905 तक कराया था। यानि किले के निर्माण में अस्सी साल का वक्त लग गया। याचिका में यह भी कहा गया है कि इसी किले में एशिया की पहली विख्यात रजा लाइब्रेरी भी है। उनका आरोप था कि प्रशासन ऐतिहासिक धरोहर को नष्ट कर उसका स्वरूप बदलना चाहता है। लोग किले से अतिक्रमण साफ कराकर इसे पुरातत्व विभाग को सौंपने की मांग कर रहे हैं। लोगों का कहना है कि किले की दीवार को जिस तरह अवैध तरीके से लोगों ने घेर कर कब्जा कर लिया है, मार्केट बना दिया है, इसे हटाने की कभी कोशिश नहीं की गई। इसी तरह किले के अंदर भी रिहायसी कालोनी विकसित होते जाना बड़ी समस्या बन रहा है।

बापू माल में शिफ्ट हों, किले की दीवार से सटी दुकानें

प्रशासन किले की दीवार से सटाकर बनाई गई अवैध दुकानों को हटाकर खाली पड़े बापू माल में आवंटित करा दे तो बापू माल भी आबाद हो जाएगा और किले के चारों तरफ से अतिक्रमण भी हट जाएगा। इससे दुकानदारों को भी कोई दिक्कत नहीं होगी। मौजूदा वक्त में किले के सुधार की सख्त जरूरत है।

30 फुट ऊंची और 10 फुट चौड़ी हैं किले की दीवारें : नूरबानो

पूर्व सांसद बेगम नूरबानो ने बताया कि किले का स्वरूप संवारने के लिए उन्होंने कोर्ट में याचिका दायर की थी। किला सौ साल से ज्यादा पुराना है, किले की पूर्वी दीवार तीस फुट ऊंची है और दस फुट चौड़ी है। किले से केंद्र और राज्य सरकार लाभ ले रही हैं इसलिए उसके रखरखाव पर भी ध्यान दें। रामपुर के कुछ लोग और प्रशासन की अनदेखी किले को नष्ट कर देगी। पूर्व सांसद बेगम नूरबानों ने कहा कि रामपुर का किला जिस हालत में उसे संभालने की जरूरत है। राज्य सरकार ने जिन विभागों को किला सौंपा है उन्हें किले की मरम्मत पर पैसा लगाने के लिए दिया जाए। जिस तरह से केंद्र सरकार हामिद मंजिल (रजा लाइब्रेरी ) पर सालाना रुपये खर्च करके उसकी देखरेख कर रही है, ठीक उसी तरह से रामपुर के किले पर ध्यान दिया जाना चाहिए। शासन और प्रशासन अगर कुछ ध्यान नहीं देगा तो इस संबंध में एक बार फिर से लिखा पढ़ी की जाएगी या न्यायालय का सहारा लिया जाएगा।

राज्यपाल और पुरातत्व विभाग को डीएम ने लिखा था पत्र

रामपुर के डीएम रहे फिलवक्त, मुरादाबाद मंडल के मंडलायुक्त आन्जेय कुमार सिंह ने राज्यपाल और पुरातत्व पत्र लिखा था। पत्र में कहा गया था कि मौजूदा वक्त में किले की हालत काफी जर्जर हो चुकी है। किले में स्थित रजा लाइब्रेरी का भवन भी जर्जर हो गया है। उस समय रजा लाइब्रेरी के निदेशक के पद की जिम्मेदारी डीएम के पास थी। डीएम ने इस मामले में प्रशासन की ओर से रजा लाइब्रेरी को संरक्षित करने के लिए लाइब्रेरी बोर्ड की अध्यक्ष एवं राज्यपाल और पुरातत्व विभाग को लिखा था। इसके अलावा उन्होंने रामपुर के किले को संरक्षित करने के लिए भी पुरातत्व विभाग को लिखा,ताकि किले की ऐतिहासिकता को भी बरकरार रखा जा सके।

बोले विशेषज्ञ

नवाबी दौर की तमाम इमारतों का संरक्षित होना बहुत जरूर है। क्योंकि,आने पीढ़ियां उस दौर के बारे में जान सकेंगी। यह इमारतों तक सीमित नहीं बल्कि हमारी संस्कृति और हमारी एकता को दर्शाती हैं। -डा.विजय कुमार राय,प्रभारी इतिहास विभाग रा. रजा डिग्री कालेज

रामपुर किले की इमारत करीब सौ वर्ष पुरानी है इसे पुरातत्व विभाग को अपनी सुपुर्दगी में ले लेना चाहिए। ताकि, किले का अस्तित्व बना रहे किला रामपुर की पहचान है। रामपुर ऐतिहासिक शहर है इसलिए लोग यहां आते हैं। -डा. अरुण कुमार

किले में विश्व स्तरीय रजा लाइब्रेरी स्थित है इसमें रखे ज्ञान के भंडार से लाभ लेने के लिए दुनिया भर से लोग आते हैं। इसलिए रामपुर किले को स्वच्छ एवं सुंदर होना चाहिए। प्रशासन किले को अतिक्रमण मुक्त कराए। -डा. प्रशांत द्विवेदी

पुरातत्व विभाग सौ साल पुरानी इमारत को अपने कब्जे में लेकर इसे हैरिटेज के रूप में विकसित करे इससे राष्ट्र को काफी आमदनी बढ़ जाएगी। लोग दूर-दूर से रजा लाइब्रेरी में आते हैं किले में साफ सुथराई देखकर रामपुर और यूपी की अच्छी छवि बनेगी।-डा. बेबी तबस्सुम

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