परिवहन निगम की बसों से लेकर बस अड्डों तक लापरवाही जारी, मास्क लगाना लोगों को नहीं हो रहा मंजूर

लखनऊ। राजधानी से लेकर पूरे प्रदेश में कोरोना की दूसरी लहर में अब मरीज नहीं मिल रहे हैं, लेकिन ओमिक्रॉन संक्रमण का खतरे को दावत दी जा रही है। शहर के बस अड्डों से लेकर बसों में सफर कर रहे यात्री तक हर जगह लापरवाही हो रही है। यूपी परिवहन विभाग की ओर से लापरवाही …
लखनऊ। राजधानी से लेकर पूरे प्रदेश में कोरोना की दूसरी लहर में अब मरीज नहीं मिल रहे हैं, लेकिन ओमिक्रॉन संक्रमण का खतरे को दावत दी जा रही है। शहर के बस अड्डों से लेकर बसों में सफर कर रहे यात्री तक हर जगह लापरवाही हो रही है। यूपी परिवहन विभाग की ओर से लापरवाही सामने आ रही है।
राजधानी के कैसरबाग बस अड्डे पर कोरोना गाइडलाइंस का सही से पालन नहीं किया जा रहा है। आलम यह कि यहां न मास्क और न सैनिटाइजेशन कहीं देखने को मिल रहा है। कैसरबाग बस अड्डे पर तीसरी लहर को लेकर हो रही तैयारियों को नाम सिर्फ खानापूर्ति की जा रही है। बस स्टेशन में कैसरबाग बस अड्डे के कर्मचारियों के साथ यात्री खुले आम बिना मास्क के घूमते देखे जा सकते हैं।
बसों में बिना मास्क के 80 प्रतिशत यात्री
कोरोना नियमों को नजरअंदाज करते बसों में 80 प्रतिशत यात्री बिना मास्क के सफर करते हुए नजर आ रहे हैं। यात्रियों को न कोई टोकने वाला दिखा और न ही कोरोना नियमों का उल्लंघन करने पर कार्रवाई करने वाला परिवहन विभाग का कोई अधिकारी नजर आया।
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गाइडलाइन को नजरअंदाज कर बिना मास्क के सरकार को चेतावनी
लंबित मांगों को लेकर रोडवेज कर्मचारी संयुक्त परिषद ने मंगलवार को कैसरबाग बस स्टेशन पर धरना प्रदर्शन किया। धरना प्रदेश के अलग-अलग डिपो में किया गया। पांच सूत्रीय मांगे उठाते हुए कर्मचारी नेताओं ने सरकार को चेतावनी देते हुए आरपार की लड़ाई का एलान किया। धरना प्रदर्शन में जुटी कर्मचारियों की भीड़ को संबोधित करते हुए प्रदेश महामंत्री गिरीश मिश्रा ने कहा कि यह शुरुआत है, आगे यह संघर्ष जारी रहेगा। हालांकि इस बीच कोरोना गाइडलाइन का पालन नहीं किया अधिकांश कर्मचारी बिना मास्क के ही दिखायी पड़े।