पीलीभीत: आरसेटी सेंटर निर्माण...बैकफुट पर आया प्रशासन, विस्थापित परिवारों का होगा पुनर्वास

पूर्व में अपात्र बताते हुए जमीन देने से किया था इन्कार

पीलीभीत: आरसेटी सेंटर निर्माण...बैकफुट पर आया प्रशासन, विस्थापित परिवारों का होगा पुनर्वास

पीलीभीत, अमृत विचार। कल्यानपुर नौगवा में आरसेटी भवन निर्माण को लेकर चले आ रहे विवाद में प्रशासन मंगलवार को बैकफुट पर आ गया। पूर्व में डीएम द्वारा जिन ग्रामीणों को एसडीएम से कराई गई जांच का हवाला देकर अपात्र बताते हुए जमीन देने से इन्कार कर दिया गया था, वहीं मंगलवार को प्रशासन के सुर बदल गए। डीएम ने अब आरसेटी भवन के लिए चयनित भूमि से विस्थापित परिवारों को पुनर्वास कराने की बात कही है। उन्होंने कहा कि किसी को भी कोई परेशानी नहीं होने दी जाएगी।

मरौरी ब्लॉक की ग्राम पंचायत कल्यानपुर नौगवां में ग्रामीण अचंलों के युवक-युवतियों को रोजगार के अवसर प्रदान करने को ग्रामीण स्वरोजगार प्रशिक्षण संस्थान (आरसेटी) बनाया जाना है। इसके लिए ग्राम पंचायत की ओर से ग्राम विकास विभाग को भूमि मुहैय्या कराई गई है। आरसेटी भवन निर्माण को लेकर 2.5 करोड़ रुपये की धनराशि भी आवंटित की जा चुकी है। निर्माण कार्य शुरू ही हो पाया था कि भूमि को लेकर विवाद खड़ा हो गया। जिसके चलते निर्माण कार्य भी रोकना पड़ा। बरखेड़ा विधायक स्वामी प्रवक्तानंद ने कुछ ग्रामीणों का हवाला देते हुए प्रशासन को एक सूची सौंपते हुए कहा था कि जिन ग्रामीणों की जमीन पर निर्माण कराया जा रहा है, उन्हें पहले अन्यत्र जमीन आवंटित की जाए, इसके बाद ही आरसेटी भवन का निर्माण होने दिया जाएगा। इसके बाद राष्ट्रीय ग्राम पंचायत राज ग्राम प्रधान संगठन की ब्लाक अध्यक्ष एवं कल्यानपुर नौगवा की ग्राम प्रधान सावित्री देवी ने बीते शनिवार को डीएम एक शिकायती पत्र सौंपकर बरखेड़ा विधायक के ससुराल पक्ष के लोगों समेत कुछ अन्य ग्रामीणों पर जमीन पर कब्जा करने का प्रयास करने का आरोप लगाते हुए उच्च स्तर से जांच करवाकर कार्रवाई की मांग की थी। 

इधर डीएम ने एसडीएम सदर स्तर से मामले की जांच कराई। जांच का हवाला देते हुए कहा था कि विधायक द्वारा जिन ग्रामीणों को जमीन आवंटित करने की मांग की जा रही थी, वह सभी अपात्र पाए गए हैं। ऐसे में अपात्रों को भूमि कैसे दी जाए। वहीं बरखेड़ा विधायक ने लखनऊ पहुंचकर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के समक्ष मामले को रखा। उन्होंने मुख्यमंत्री से कहा कि 23 परिवारों को उजाड़ा जा रहा है। प्रशासन जनप्रतिनधि की बात को अनसुना कर रहा है। मामले को लेकर पिछले तीन दिन से खींचतान चली आ रही थी। 

मंगलवार को कल्यानपुर नौगवा के तमाम ग्रामीण ग्राम प्रधान प्रतिनिधि शांतिस्वरूप के नेतृत्व में कलक्ट्रेट पहुंचे और डीएम को ज्ञापन सौंपकर तत्काल आरसेटी भवन का निर्माण कराने की मांग की। इस ज्ञापन में भी विधायक पर तमाम आरोप लगाए गए। इसके कुछ देर बाद ही मामले में प्रशासन के सुर बदल गए। प्रशासन द्वारा जिन ग्रामीणों को जमीन आवंटन के लिए अपात्र बताया जा रहा था, मंगलवार को उन्हीं ग्रामीणों को डीएम ने विस्थापित ग्रामीण का दर्जा देते हुए उनके पुर्नवास की बात कही है।

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