अयोध्या: रामकोट की परिक्रमा के साथ 84 कोसी का हुआ समापन, परिक्रमार्थियों का रामनगरी में हुआ भव्य स्वागत

अयोध्या। सीताराम-सीताराम संकीर्तन और जय श्रीराम उदघोष के साथ 84 कोसी परिक्रमा यात्रा 23 दिन बाद अयोध्या पहुंची। श्रीराम जन्मभूमि परिसर की परिक्रमा के साथ यात्रा का समापन हुआ। साधु-संतों की अगुवाई में निकली 84 कोसी परिक्रमा यात्रा विभिन्न जिलों से होते हुए यहां शनिवार देर शाम पहुंची। परिक्रमार्थियों का रामनगरी आगमन पर भव्य स्वागत …
अयोध्या। सीताराम-सीताराम संकीर्तन और जय श्रीराम उदघोष के साथ 84 कोसी परिक्रमा यात्रा 23 दिन बाद अयोध्या पहुंची। श्रीराम जन्मभूमि परिसर की परिक्रमा के साथ यात्रा का समापन हुआ। साधु-संतों की अगुवाई में निकली 84 कोसी परिक्रमा यात्रा विभिन्न जिलों से होते हुए यहां शनिवार देर शाम पहुंची। परिक्रमार्थियों का रामनगरी आगमन पर भव्य स्वागत किया गया।
करीब दो वर्षों बाद हुई इस 84 कोसी परिक्रमा यात्रा ने कुल 23 दिनों में आसपास के जिलों के 110 गांवों से होकर गुजरी। इस दौरान कई गांवों में पड़ाव करते हुए मखौड़ा बस्ती पहुंची। वहां से पूजन अर्चन के बाद अयोध्या की ओर प्रस्थान किया। बता दें कि यह परिक्रमा पांच जनपदों से होकर गुजरती है। परिक्रमा विश्व हिंदू परिषद मुख्यालय कारसेवकपुरम से हनुमान मंडल के नेतृत्व में रवाना हुई थी।
इस यात्रा के समापन से पहले संतों ने निर्माणाधीन भगवान श्री राम के मंदिर की परिक्रमा की। अयोध्या सांस्कृतिक सीमा की इस परिक्रमा में बस्ती, अम्बेडकर नगर, अयोध्या, बाराबंकी व गोंडा पड़ता है। जिसमे सौ से अधिक प्राचीन व ऐतिहासिक धार्मिक स्थल भी आते हैं। हनुमान मंडल के संयोजक व 84 कोसी परिक्रमा के प्रभारी सुरेंद्र कुमार ने बताया कि आज 23 दिन के बाद इस परिक्रमा की समाप्ति हुई है।
22 दिन लगातर भ्रमण के बाद अंतिम पड़ाव में अयोध्या पहुंचे है। रामकोट की परिक्रमा का सीता कुंड पर भी दर्शन पूजन कर अब इस परिक्रमा को समाप्त किया गया है। उन्होंने कहा कि जब साधु संत धार्मिक यात्रा पर निकलते हैं तो बहुत ही कठिनाइयां भी आती हैं। यात्रा के दौरान पानी का भाव तो कहीं रुकने की व्यवस्था नहीं होती। फिर भी सभी परिक्रमार्थियों ने आस्था भाव के साथ भगवान का भजन करते हुए यात्रा को पूरा किया है।
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