देश की 15वीं राष्ट्रपति बनीं द्रौपदी मुर्मू को सीजेआई ने दिलाई शपथ, सेंट्रल हॉल में हुआ समारोह

देश की 15वीं राष्ट्रपति बनीं द्रौपदी मुर्मू को सीजेआई ने दिलाई शपथ, सेंट्रल हॉल में हुआ समारोह

नई दिल्ली। प्रधान न्यायाधीश एन. वी. रमण ने द्रौपदी मुर्मू को भारत के 15वें राष्ट्रपति के रूप में शपथ दिलाई।  वह देश की पहली आदिवासी महिला राष्ट्रपति हैं। सुबह सवा 10 बजे द्रौपदी मुर्मू संसद भवन के सेंट्रल हॉल पहुंचीं और देश के सर्वोच्च संवैधानिक पद की शपथ ली। उन्हें 21 तोपों की सलामी दी …

नई दिल्ली। प्रधान न्यायाधीश एन. वी. रमण ने द्रौपदी मुर्मू को भारत के 15वें राष्ट्रपति के रूप में शपथ दिलाई।  वह देश की पहली आदिवासी महिला राष्ट्रपति हैं। सुबह सवा 10 बजे द्रौपदी मुर्मू संसद भवन के सेंट्रल हॉल पहुंचीं और देश के सर्वोच्च संवैधानिक पद की शपथ ली। उन्हें 21 तोपों की सलामी दी गई।

राष्ट्रपति पद की शपथ लेने के बाद द्रौपदी मुर्मू ने अपने संबोधन में कहा, ‘‘मैं भारत के समस्त नागरिकों की आशा-आकांक्षा और अधिकारों के प्रतीक इस पवित्र संसद भवन से सभी देशवासियों का पूरी विनम्रता से अभिनंदन करती हूँ। आपकी आत्मीयता, आपका विश्वास और आपका सहयोग, मेरे लिए इस नए दायित्व को निभाने में मेरी बहुत बड़ी ताकत होंगे।’’ उन्होंने कहा ‘‘भारत के सर्वोच्च संवैधानिक पद पर निर्वाचित करने के लिए मैं सभी सांसदों और सभी विधानसभा सदस्यों का हार्दिक आभार व्यक्त करती हूं।

आपका मत देश के करोड़ों नागरिकों के विश्वास की अभिव्यक्ति है।’’ मुर्मू ने कहा ‘‘ मुझे राष्ट्रपति के रूप में देश ने एक ऐसे महत्वपूर्ण कालखंड में चुना है जब हम अपनी आज़ादी का अमृत महोत्सव मना रहे हैं और आज से कुछ दिन बाद ही देश अपनी स्वाधीनता के 75 वर्ष पूरे करेगा।’’ उन्होंने कहा कि ये भी एक संयोग है कि जब देश अपनी आजादी के 50वें वर्ष का जश्न मना रहा था तभी उनके राजनीतिक जीवन की शुरुआत हुई थी और आज आजादी के 75वें वर्ष में उन्हें यह नया दायित्व मिला है।

राष्ट्रपति ने कहा , ‘‘ मैं देश की ऐसी पहली राष्ट्रपति भी हूँ जिसका जन्म आज़ाद भारत में हुआ है। हमारे स्वाधीनता सेनानियों ने आजाद हिंदुस्तान के हम नागरिकों से जो अपेक्षाएं की थीं, उनकी पूर्ति के लिए इस अमृतकाल में हमें तेज गति से काम करना है। ’’ उन्होंने कहा कि इन 25 वर्षों में अमृतकाल की सिद्धि का रास्ता दो पटरियों…. सबका प्रयास और सबका कर्तव्य पर आगे बढ़ेगा। मुर्मू ने कहा, ‘‘राष्ट्रपति के पद तक पहुँचना, मेरी व्यक्तिगत उपलब्धि नहीं है, ये भारत के प्रत्येक गरीब की उपलब्धि है। मेरा निर्वाचन इस बात का सबूत है कि भारत में गरीब सपने देख भी सकता है और उन्हें पूरा भी कर सकता है।’’ मुर्मू ने शपथ ग्रहण समारोह से पहले राजघाट स्थित महात्मा गांधी के स्मारक पर सोमवार को सुबह पुष्पांजलि अर्पित की।

शपथ ग्रहण समारोह में जाने से पहले द्रौपदी मुर्मू राष्ट्रपति भवन पहुंचीं जहां निर्वतमान राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने उनका स्वागत किया। संसद भवन के केंद्रीय कक्ष में आयोजित शपथ ग्रहण समारोह से पहले, निवर्तमान राष्ट्रपति और निर्वाचित राष्ट्रपति संसद पहुंचे। उपराष्ट्रपति एवं राज्यसभा के सभापति एम. वेंकैया नायडू, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला, मंत्रिपरिषद के सदस्य, कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी, राज्यपाल, मुख्यमंत्री, संसद सदस्य आदि समारोह में शामिल हुए।

राष्ट्रपति मुर्मू ने देश में समावेशी और तेज विकास के लिए हाशिए पर मौजूद लोगों के उत्थान की दिशा में काम करने के अपने संकल्प को दोहराया।

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