Kartik Purnima: डेढ़ लाख श्रद्धालुओं ने बाबा की चौखट पर टेका माथा
दूर दूर से पहुंचे श्रद्धालु, अभरण सरोवर में लगाई आस्था की डुबकी, मेले में पशु बाजार में लगी ग्राहकों की भीड़, 150 से ज्यादा पशुओं की बिक्री
बाराबंकी, अमृत विचार : समर्थ साईं जगजीवन साहब की तपोस्थली कोटवाधाम में कार्तिकी पूर्णिमा पर शुक्रवार को आस्था का जनसैलाब उमड़ पड़ा। करीब डेढ़ लाख श्रद्धालुओं ने पवित्र अभरण सरोवर में आस्था की डुबकी लगाकर बाबा जगजीवनदास की चौखट पर माथा टेका और प्रसाद चढ़ाकर सुख समृद्धि की कामना की। मेले में अयोध्या, बहराइच, कानपुर, गोंडा, बलरामपुर, सीतापुर, लखनऊ, सुल्वानपुर, अमेठी, लखीमपुर, श्रावस्ती, उन्नाव, सहारनपुर, मुजफ्फरनगर, छपरा और बिहार से श्रद्धालु दर्शन करने पहुंचे। पवित्र अभरण सरोबर में स्नान के बाद प्रसाद चढ़ाने के लिए पूरे दिन श्रद्धालुओं की लंबी लंबी लाइन रही। मंदिर परिसर बाबा के जयकारों से गूंजता रहा। बड़ी संख्या में भक्तों ने अंजुरी में धान दानकर बाबा का आशीर्वाद प्राप्त किया। बड़ी गद्दी के महंत निलेंद्रबख्श दास ने बताया कि पूरा मेले परिसर सीसीटीवी की निगरानी में है। हमेशा की तरह इस बार भी श्रद्धालु काफी दूर दूर से आये हैं।
कोटवाधाम मेले में गर्म कपड़ों, रेशमी वस्त्रों व बर्तनों की दुकानों के साथ ही साथ सर्कस झूले दूसरे मनोरंजन के साधन आदि लगे हुए हैं। इसके अलावा कई तरह की सेल लगी दुकानों में बच्चोंं, महिलाओं व पुरुषों के लिए सस्ते दामों पर जैकेट, सदरी, कोटी मिल रहे हैं। जहां श्रद्धालुओं ने खूब खरीदारी की। मीना बाजार में महिलाओं ने सौंदर्य सामग्री की जमकर खरीदारी की। वहीं पशुबाजार में मेले के पहले दिन ही यहां पर 150 से ज्यादा पशुओं की बिक्री हुई। यहां के पशु बाजार में विभिन्न प्रजातियां की गाय और भैंस समेत अन्य जानवर खरीदने वाले लोगों की भी काफी भीड़ देखने को मिल रही है।
मुंडन कराने वालों का लगा तांता
जगजीवन साहब के मंडप के ठीक सामने बने पवित्र अभरण सरोवर पर मुंडन संस्कार कराने वालों का तांता लगा रहा। दूर दूर से लोगों ने आकर यहां अपने बच्चों का मुंडन संस्कार कराया। कुछ बच्चों ने तो काफी हंस खेलकर मुंडन संस्कार कराया, जबकि तमाम बच्चे डर कर रोने दिखे। बच्चों के माता-पिता उन्हें नाना प्रकार के उपहार देकर शांत कराने में मशगूल दिखाई दिये।
दरबार में अपार आस्था
जनपद उन्नाव से आए श्रद्धालु राम पदारथ ने बताया कि उनकी स्वामी जी के दरबार में अपार आस्था है। वह यहां पर गुरुमंत्र ले चुके हैं। हार साल की कार्तिक पूर्णिमा को वह यहां अवश्य आते हैं। बड़े बाबा की कृपा से उनके सारे बिगड़े हुए काम अपने आप बन जाते हैं। वही जनपद सीतापुर से आए मुरलीधर ने बताया कि उनकी स्वामी के दरबार में अपार श्रद्धा है। उनकी पीढ़ी दर पीढ़ी यहां की भक्त रही है। वह प्रत्येक माह की पूर्णिमा तिथि, माघ मास की जन्म सप्तमी व कार्तिक पूर्णिमा को यहां अवश्य आते हैं। यहां आने से उन्हें सुख और शांति मिलती है।
चप्पे चप्पे पर दिखी पुलिस
सुरक्षा की दृष्टि से मेला परिसर व मंडप के पास सुरक्षा कर्मी काफी मुस्तैद दिखाई दिये। जिससे यहां पर आने वाले श्रद्धालुओं को किसी प्रकार की असुविधा न हो। बदोसराय पुलिस द्वारा मेला कोतवाली के पास ही खोया-पाया केंद्र बनाया गया। जिसमें मेले में भूले भटके लोगों को परिजनों से मिलाया गया। इसके अलावा सैकड़ों की संख्या में वर्दी में पुलिसबल तैनात रहा। सादी वर्दी में भी पुलिसकर्मी लगातार मेला परिसर की सुरक्षा में घूमते रहे। सीओ सौरभ श्रीवास्तव ने बताया कि मेले में पर्याप्त सुरक्षाबल तैनात है। सरोवर के पास गोताखोर हैं। मेरे में आये श्रद्धालुओं को किसी प्रकार की कोई समस्या नहीं हुई।
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