पराली और प्लास्टिक से बनेगा ईंधन, स्वच्छ होगा वातावरण, घटेगा प्रदूषण
लखनऊ, अमृत विचार: प्रदेश में पराली जलाने की घटनाएं रुकने के साथ प्रदूषण से निजात मिलेगी। इसके लिए ''रूजो ग्रीन एनर्जी'' कंपनी द्वारा सीबीजी प्लांट में पराली, गन्ने के छिलके के साथ प्लास्टिक अपशिष्ट का निस्तारण करके डीजल और सीएनजी बनाई जाएगी।
कंपनी के एमडी कनिष्क आनंन्द ने बताया कि पराली और प्लास्टिक मिश्रण को मिलाकर एक स्थायी ईंधन स्रोत बना रहे हैं। इससे पर्यावरण को होने वाले नुकसान से बचाया जा सकें।
इसके लिए सीबीजी प्लांट से एक संपीड़ित बायोगैस (एडवांस बायोफ्यूल) प्लांट की शुरुआत कर रहे हैं। इसमें सीएनजी बनाने के लिए गाय का गोबर, पराली व प्लास्टिक अपशिष्ट का उपयोग किया जाएगा। इस बायो इथेनॉल प्लांट को यूपी नेडा से मंजूरी मिल गई है। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में स्वच्छ ऊर्जा को बढ़ावा देने के लिए महत्वपूर्ण कदम उठाये जा रहे है। इस दिशा में रूजो ग्रीन एनर्जी स्वच्छ ऊर्जा को बढ़ावा देगी। गोबर, प्लास्टिक व पराली के अपशिष्ट प्रयोग से डीजल व सीएनजी में बदलाव से कृषि स्थिरता को बढ़ावा मिलेगा। आईआईटी, बीएचयू व रूजो ग्रीन एनर्जी संयुक्त रूप से इस दिशा में काम कर रहा है। प्रौद्योगिकी विकास के लिए आईआईटी, बीएचयू के साथ ही 12 आविष्कार और पेटेंट दायर किए गए हैं। जल्द 13 माह में संपीड़ित बायोगैस प्लांट क्रियाशील होकर धरातल पर दिखने लगेंगे।
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