Health: बच्चे को अगर बार-बार हो रही है यह समस्या तो न करें नजर अंदाज, कैंसर के हो सकते हैं लक्षण

कैंसर संस्थान में आयोजित हुए जागरूकता कार्यक्रम में विशेषज्ञों ने दी जानकारी

Health: बच्चे को अगर बार-बार हो रही है यह समस्या तो न करें नजर अंदाज, कैंसर के हो सकते हैं लक्षण

लखनऊ, अमृत विचार। बच्चे के शरीर में असामान्य गांठ, सूजन, थकान महसूस करना, हड्डी और जोड़ों का दर्द, कमजोरी और लगातार वजन घटने जैसे लक्षणों को नजरअंदाज नहीं करना चाहिए। ये लक्षण बच्चों में रक्त कैंसर की वजह से हो सकते हैं। समय पर जांच और इलाज से बच्चों में कैंसर ठीक हो सकता है। जांच व इलाज को लेकर जागरुकता जरूरी है। यह बातें कल्याण सिंह कैंसर संस्थान के निदेशक डॉ. आरके धीमन ने कही।

वह कैंसर संस्थान में मंगलवार को गोल्ड सितंबर थीम से आयोजित हुए बाल कैंसर जागरुकता कार्यक्रम को संबोधित कर रहे थे। इस मौके पर निदेशक ने ओपीडी ब्लॉक में बच्चों के लिए प्ले रूम (खेल के कमरे) का शुभारंभ किया। इसमें बच्चों के लिए खिलौने होंगे। ताकि इलाज से पहले व बाद में बच्चों का खेल-खिलौने से मन बहला सकें। उनकी पीड़ा कम की जा सकेगी।

संस्थान के चिकित्सा अधीक्षक डॉ. देवाशीष शुक्ला ने कहा कि कैंसर का जल्द इलाज जरूरी है। इससे कैंसर को हराया जा सकता है। उन्होंने सरकारी व गैर सरकारी संगठनों को बधाई दी। लोगों से कैंसर से पीड़ित पड़ोसियों और दोस्तों की मदद करने की अपील की। उन्होंने कहा कि सरकारी योजनाओं से कैंसर पीड़ितों को मुफ्त इलाज उपलब्ध कराया जा सकता है।

उल्टी व सिर दर्द दिमाग का कैंसर के लक्षण

डॉ. आरके धीमन ने कहा कि बच्चों में दिमाग का कैंसर भी आम है। इसमें बच्चे को उल्टी व सिरदर्द होता है। धुंधला दिखाई देता है। सुनने में भी परेशानी होती है। जबकि लिम्फोमा कैंसर भी बच्चों को बहुत परेशान करता है। इसमें बच्चे के लिम्फ नोड में सूजन आ जाती है। बुखार आता है। वजन तेजी से घटता है। इसके अलावा भी तमाम तरह के कैंसर बच्चों में पनपते हैं।

उन्होंने कहा कि बच्चों में कैंसर के मामलों में इजाफा हो रहा है। राहत की बात यह है कि नई दवा व तकनीक से इलाज आसान हो गया है। उन्होंने कहा कि देश में हर साल बाल कैंसर के 50 हजार से अधिक मामलों का इलाज किया जाता है, जिसमें उत्तर प्रदेश का योगदान लगभग 20 फीसदी है। उनमें से केवल आधे का ही इलाज हो पाता है। इसका प्रमुख कारण बाल कैंसर के बारे में जागरूकता की कमी है।

इस मौके पर पीडियाट्रिक आंकोलॉजी विभाग की अध्यक्ष डॉ. गीतिका पंत, पब्लिक हेल्थ विभाग के अध्यक्ष डॉ. आयुष लोहिया, डॉ. राखी जैन, रेडियोथेरेपी विभाग के डॉ. प्रमोद कुमार गुप्ता, सर्जिकल ऑन्कोलॉजी विभागाध्यक्ष डॉ. अंकुर वर्मा ने भी जानकारी साझा की।

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