उन्नाव में युवती ने फांसी लगाकर तो युवक ने कीटनाशक निगलकर दी जान...परिजनों में मचा कोहराम

उन्नाव में युवती ने फांसी लगाकर तो युवक ने कीटनाशक निगलकर दी जान...परिजनों में मचा कोहराम

उन्नाव, अमृत विचार। बिहार थानाक्षेत्र के दुबेपुर गांव में युवती फंदे से लटक गई। मवेशी चरा कर लौटी मां ने उसे लटका देख परिजनों की मदद नीचे उतरवाया। लेकिन तब तक उसकी मौत हो गई थी। पुलिस ने जांच कर शव का पोस्टमार्टम कराया है।

बिहार थानाक्षेत्र के दुबेपुर गांव निवासी आरती (18) पुत्री अशोक मंगलवार शाम घर पर अकेली थी। पिता गांव निवासी एक व्यक्ति की मौत पर शवयात्रा में गया था। मां मवेशी चराने गई थी। छोटे भाई-बहन घर के बाहर खेल रहे थे। इसी दौरान आरती मां की साड़ी का फंदा बनाकर लटक गई। 

मवेशी चराकर लौटी मां लक्ष्मी ने उसे लटका देख शोर मचाया। इस पर पड़ोस के रिश्तेदारों की मदद से फंदा काटकर उसे नीचे उतारा गया। लेकिन, तब तक उसकी मौत हो चुकी थी। यह देख परिजनों में कोहराम मच गया। पुलिस ने जांच के बाद शव पोस्टमार्टम के लिए भेजा। आरती दो भाई विकास, शुभम व बहन पूजा से बड़ी थी। एसओ सुरेश मिश्रा ने बताया कि शव का पोस्टमार्टम कराया गया है। अभी किसी का कोई आरोप नहीं है। 

पत्नी से नाराज युवक ने फांसी लगा जान देने का किया प्रयास 

अजगैन कोतवाली क्षेत्र के छतईखेड़ा गांव निवासी सुरेश लोधी (37) पुत्र नन्हू का पत्नी से किसी बात को लेकर विवाद हो गया। जिससे नाराज होकर उसने कमरे में पंखे की कुंडी में रस्सी का फंदा बनाकर फांसी लगा ली। तभी पत्नी की उस पर नजर पड़ गई और उसने घरवालों को बुलाया। परिजनों ने उसे सही समय पर उसे फंदे से उतार लिया। जिससे उसकी जान बच गई। प्रभारी निरीक्षक अवनीश सिंह ने बताया कि मामले की जानकारी नहीं है।

युवक ने कीटनाशक निगलकर दी जान

कोतवाली क्षेत्र के महाही गांव निवासी एक युवक ने घर में रखा कीटनाशक निगल लिया। इलाज के लिए जिला अस्पताल लाते समय उसकी रास्ते में मौत हो गई। अस्पताल के मेमो पर पुलिस ने शव पोस्टमार्टम के लिए भेजा है। 

महाही गांव निवासी दिलीप तिवारी (38) पुत्र स्व. द्वारिका प्रसाद दिल्ली में मजदूरी करता था। बीते दिनों बीमारी से उसकी पत्नी ज्योतिमा की मौत हो गई थी। इसके बाद उसके दोनों बेटे बुआ गुड्डन के घर कानपुर के लाल बंगला में रहते हैं। दिलीप गांव में अकेले रहता था। मंगलवार रात उसने घर में रखा कीटनाशक निगल लिया। थोड़ी देर में उसकी हालत बिगड़ने लगी। उल्टियां होने पर पड़ोसी उसे स्वास्थ्य केंद्र लाए।

जहां से उसे जिला अस्पताल भेजा गया। लेकिन वहां पहुंचने पर डाक्टर ने उसे मृत घोषित कर दिया। दिलीप दो भाइयों में बड़ा था। छोटा भाई उन्नति दिल्ली में नौकरी करता है। भाई की मौत की खबर पर वह घर लौट रहा है। वहीं एक साल के अंदर माता-पिता का साया सिर से उठने पर बड़ा बेटा ध्रुव बेहाल रहा। वहीं छोटा बेटा दक्ष अभी दो साल का है।

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