बरेली: गोलीकांड की खुलनी लगीं परतें...हिस्ट्रीशीटर को 10 लाख दिए थे एडवांस, राणा ने JCB मंगाने के लिए कई बार किया फोन

बरेली: गोलीकांड की खुलनी लगीं परतें...हिस्ट्रीशीटर को 10 लाख दिए थे एडवांस, राणा ने JCB मंगाने के लिए कई बार किया फोन

बरेली, अमृत विचार : पीलीभीत बाईपास पर हुए गोलीकांड की परतें अब उधड़नी शुरू हो गई हैं। पुलिस छानबीन में पता चला है कि राजीव राणा का भाई संजय इस पूरे घटनाक्रम में फ्रंट पर रहा था। उसी ने भाड़े के गुंडों से गोलीबारी कराने के लिए हिस्ट्रीशीटर केपी यादव को 10 लाख रुपये एडवांस दिए थे। पर्दे के पीछे रहकर पूरे खेल को अंजाम देने वाले राजीव राणा ने घटना वाले दिन जेसीबी बुलाने के लिए एक-दो नहीं बल्कि 17 बार फोन किया था। जब गोलीबारी हुई, तब भी वह विवादित प्लॉट से सिर्फ तीन सौ मीटर की दूरी पर मौजूद था।

पुलिस के मुताबिक राजीव राणा ने अपने भाई संजय राणा को यह कहकर खुली छूट दी थी कि उसे हर हाल में प्लॉट पर कब्जा चाहिए। इसी के बाद संजय फ्रंट पर आ गया। उसने तैयारी शुरू कर किराए के गुंडे जुटाने के लिए हिस्ट्रीशीटर केपी यादव से 30 लाख रुपये में सौदा तय किया और उसे तीन बार में 10 लाख रुपये एडवांस भी दिए।

इसके बाद तीन दिन तक रोज केपी यादव और संजय राणा की मुलाकातें हुईं। 21 जून की रात रिठौरा में शराब पार्टी के बाद किराए के गुंडों को सीके वैली और सिटी स्टार होटल में ठहराया गया जहां से तड़के ही वे प्लॉट पर पहुंच गए, लेकिन जेसीबी न आ पाने की वजह से कब्जा करने का काम शुरू नहीं हो सका।

राजीव राणा को यह पता चला तो उसने जेसीबी मालिक को लगातार 17 बार फोन किया। जेसीबी करीब 6 बजे पहुंची। इससे पहले संजय राणा ने यहां सबसे पहले अपना बोर्ड लगाकर कुछ सामान रखवा चुका था। जेसीबी से तोड़फोड़ शुरू करने के बाद दूसरे पक्ष की ओर से विरोध हुआ तो संजय ने ही गोली चलाने को कहा। इसके बाद पूरा इलाका गोलियों की तड़तड़ाहट से गूंजने लगा।

काम शुरू नहीं हुआ तो राणा ने फोन पर भाई को दीं गालियां
समय पर जेसीबी न पहुंचने की बात पता चलने पर राजीव राणा अपने भाई संजय राणा पर ही बुरी तरह भड़क गया। जेसीबी मालिक को कई बार फोन करने के साथ वह संजय को भी बार-बार फोन कर गालियां देता रहा। पुलिस के मुताबिक कुछ कॉल रिकॉर्डिंग मिली हैं जिनमें राजीव राणा गालियां देते हुए अपने भाई संजय से कह रहा है, तुझे यही जिम्मेदारी दी गई थी इसीलिए एडवांस पैसा दिया था। मुझे किसी भी हालत में आज ही प्लॉट पर कब्जा चाहिए।

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