हल्द्वानी: आपणि कुमाऊंनी बोली में बात करन जरुरी छू

हल्द्वानी, अमृत विचार। नवाबी रोड स्थित एक बैंकट हॉल में कुमाऊंनी भाषा को लेकर युवा सम्मेलन उज्याव हुआ। कार्यक्रम में कुमाऊंनी भाषा और कुमाऊंनी संस्कृति को बढ़ाने पर जोर दिया गया। कुमाऊंनी कवि सम्मेलन और लोकगीत प्रस्तुत किए गए।
मुख्य वक्ता काव्य और ललित खाती ने कहा कि हमें अपनी भाषा को प्राथमिकता के साथ बोलना चाहिए। संस्था अध्यक्ष दीपक भाकुनी ने कहा कुमाऊंनी भाषा बोलने पर जोर देते हुए कहा कि आपणि कुमाऊंनी भाषा में बात करन जरुरी छू। उज्याव कार्यक्रम लोगों क आपणि रीति-रिवाज और संस्कृति क अघिल बढ़ौनै लिजि प्रेरणा प्रदान करनक काम करल। हर्षवर्द्धन जोशी और रिया नगरकोटी को कुमाऊंनी लेखन, शिवांशु मेहता को कुमाऊंनी लोकगीत के लिए, चेतन कांडपाल, भावना, अमित भट्ट और गणेश भट्ट को कुमाऊंनी भाषा के प्रचार-प्रसार, दीपक मेहरा को कुमाऊंनी भाषा व संस्कृती प्रचार-प्रसार, मीनाक्षी खाती को एपर्ण कला, मनोरमा सुयाल को स्वरोजगार देने के उपलक्ष्य में पुरस्कृत किया।
संपादक मंडल में दामोदर जोशी, डॉ. हयात सिंह रावत, डॉ. सरस्वती कोहली, चारु तिवारी, चंद्र प्रकाश फुलोरिया, उदय किरोला को सम्मानित किया। धीरेश जोशी की किताब श्रद्धांजलि के अलावा अन्य किताबों का विमोचन हुआ। घुघुती जागर टीम और राजन डाला पार्टी ने लोकगीत प्रस्तुत किए। कुमाऊंनी कवि सम्मेलन में काव्य पांडे, कमल हर्षवर्द्धन जोशी, पूजा पांडे, गीता जोशी, भुवन सुयाल, रिचा जोशी, अमीता प्रवीण, विद्या महतोलिया, बीना भट्ट आदि ने काव्य पाठ किया। मंच संचालन स्थानीय बोली में किया गया।
आयोजन समिति में सोनू उप्रेती, संरक्षक तारा पाठक, सहसंरक्षक सोनू उप्रेती, उपाध्यक्ष ललित तुलेरा, सचिन, धर्मेंद्र पांडे, कोषाध्यक्ष त्रिवेंद्र जोशी, प्रभारी दीपक आदि रहे।