कोरोना के नए वेरियंट की आहट : 400 से अधिक अस्पतालों में मॉक ड्रिल

अस्पतालों में वेंटीलेटर, दवा, ऑक्सीजन की उपलब्धता को परखा,  राज्य सरकार की ओर से नियुक्त नोडल अधिकारी रहे मौजूद

कोरोना के नए वेरियंट की आहट : 400 से अधिक अस्पतालों में मॉक ड्रिल

अमृत विचार, लखनऊ। प्रदेशभर में मंगलवार को कोरोना के नए वेरियंट को परखने और बचाव के लिए डेडीकेटेड हॉस्पिटल में मॉक ड्रिल हुई, जिसमें वेंटीलेटर, दवा, ऑक्सीजन की उपलब्धता को परखा गया। इस दौरान आईसीयू वार्ड में ऑक्सीजन प्लांट के प्रेशर की बारीकी से जांच की गई।

उप्र. के 75 जिलों के करीब 400 से अधिक अस्पतालों में मॉक ड्रिल हुई। इस दौरान हर जिले में सरकार की ओर से नियुक्त किए गए नोडल अधिकारी भी मौजूद रहे। इसके साथ ही डब्ल्यूएचओ के सर्विलांस मेडिकल ऑफिसर भी मॉक ड्रिल के गवाह बने।

दरअसल, एक बार फिर दुनिया के कई देशों में बढ़ रहे कोविड के नए वेरियंट बीएफ 7 की आहट से देश में स्वास्थ्य विभाग अलर्ट मोड में है। ऐसे में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के निर्देश पर हुई मॉक ड्रिल की हकीकत परखने के लिए उप मुख्यमंत्री ब्रजेश पाठक मंगलवार सुबह करीब 10 बजे राजधानी के जिला अस्पताल बलरामपुर पहुंचे। यहां उन्होंने मॉक ड्रिल की शुरुआत करते हुए ऑक्सीजन की उपलब्धता से लेकर वेंटिलेटर, आईसीयू आदि सभी व्यवस्थाएं दुरुस्त पाईं। साथ ही अधिकारियों को निर्देश दिए कि कोरोना के नए वेरियंट को लेकर अलर्ट मोड में रहें।

वाराणसी: ऑक्सीजन की कमी नहीं

वाराणसी के पं. दीनदयाल उपाध्याय राजकीय चिकित्सालय में मुख्य चिकित्साधिकारी डॉ.संदीप चौधरी, अपर स्वास्थ्य निदेशक डॉ.अंशु सिंह व मुख्य चिकित्साधीक्षक की मौजूदगी में मॉक ड्रिल हुई। सीएमओ ने कहा कि अगर जिले में कोरोना के मामले आते हैं तो हम इसके लिए पूरी तरह तैयार हैं। दवाओं की उपलब्धता व ऑक्सीजन की कमी नहीं है। अस्पताल के सभी कर्मचारियों को अलर्ट कर दिया गया है, जिससे हम किसी भी आपात स्थिति में निपटने के लिए तैयार हैं।

गोरखपुर में तय मानकों का किया निरीक्षण

गोरखपुर में बीआरडी मेडिकल कॉलेज, 100 बेड टीबी अस्पताल, राजकीय होम्योपैथी मेडिकल कॉलेज बड़हलगंज, सीएचसी चौरीचौरा और सीएचसी कैम्पियरगंज में कोविड इलाज को लेकर मॉक ड्रिल हुई। इस दौरान तय मानकों का निरीक्षण भी किया गया। मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ. आशुतोष दुबे का कहना है कि जिले में कोविड प्रबंधन को लेकर सभी इंतजाम सुनिश्चित हैं।

आगरा: 1402 जनरल और 344 आईसीयू बेड आरक्षित

आगरा के एसएन मेडिकल कॉलेज, जिला चिकित्सालय, सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र (सीएचसी) बरौली अहीर, सीएचसी खंदौली, सीएचसी सैंया और सीएचसी बाह में बने कोविड वार्ड में मॉक ड्रिल के जरिए देखा गया कि किस स्तर पर परेशानी आ रही है। सीएमओ डॉ. अरुण श्रीवास्तव ने बताया कि नए वेरिएंट को देखते हुए कोविड मरीजों के लिए कुल 1402 जनरल बेड और 344 आईसीयू बेड आरक्षित किए गए हैं।

बरेली में सब कुछ मिला दुरुस्त

बरेली कमिश्नर संयुक्ता समद्दार ने मॉक ड्रिल के दौरान वेंटीलेटर की उपलब्धता, क्रियाशीलता, आईसीयू वार्ड में हाई फ्लो नसल कन्यूला बाई पैक मशीन की जानकारी ली। इसके अलावा कोविड-19 के लिए आवश्यक औषधि और वैक्सीन का भी जायजा लिया। अस्पताल परिसर में स्थापित ऑक्सीजन प्लांट पूरी तरह एक्टिव था। ऑक्सीजन प्लांट का प्रेशर प्योरिटी मानकों के अनुरूप पाया गया।

प्रयागराज :1532 बेड आरक्षित

प्रयागराज के 8 अस्पतालों में कोविड के नए वेरियंट से निपटने को लेकर तैयारियों की मॉक ड्रिल की गई। प्रयागराज के स्वरूप रानी नेहरू अस्पताल, लेवल 1 हॉस्पिटल में फूलपुर, कोटवा मांडा और राम नगर के अलावा लेवल 2 में रेलवे हॉस्पिटल, बेली हॉस्पिटल और यूनाइटेड मेडी सिटी हॉस्पिटल में मॉक ड्रिल हुई। मॉक ड्रिल इंचार्ज डॉ. वरुण के मुताबिक जिले में कोविड से निपटने के लिए 1532 बेड उपलब्ध हैं। वहीं 10 ऑक्सीजन प्लांट संचालित हैं।

झांसी में मिलीं खामियों को दूर करने पर मंथन

झांसी के जिला चिकित्सालय और महारानी लक्ष्मीबाई मेडिकल कॉलेज में कोविड को लेकर मॉक ड्रिल हुई, जिसमें स्वास्थ्य विभाग के अफसर और प्रशासनिक अफसर मौजूद रहे। इस दौरान ऑक्सीजन की उपलब्धता, ऑक्सीजन कंसनट्रेटर, आईसीयू, वेंटीलेटर और दवाओं की उपलब्धता की जांच की गई।

मॉक ड्रिल के दौरान अस्पताल में कमियां मिलने पर अधिकारियों ने अस्पताल प्रशासन के साथ मिलकर उन्हे जल्द से जल्द पूरा करने पर मंथन किया। वहीं कुछ छोटी-छोटी कमियों को तत्काल दूर करने के निर्देश दिए गए।

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