जल्द रखी जाएगी नव्य अयोध्या की आधारशिला, संघ प्रमुख का दौरा अब दिखा रहा रंग

जल्द रखी जाएगी नव्य अयोध्या की आधारशिला, संघ प्रमुख का दौरा अब दिखा रहा रंग

अयोध्या। अयोध्या के विकास की घोषणाएं तो बहुत हैं लेकिन जमीन पर बहुतों का उतरना अभी बाकी है। इसी बीच बीते महीने यहां अयोध्या में संघ प्रमुख मोहन भागवत का दो दिन का हुआ प्रवास भी अब रंग दिखाने जा रहा है। 1200 एकड़ में बसने वाली नव्य अयोध्या पर काम शुरू हो गया है। …

अयोध्या। अयोध्या के विकास की घोषणाएं तो बहुत हैं लेकिन जमीन पर बहुतों का उतरना अभी बाकी है। इसी बीच बीते महीने यहां अयोध्या में संघ प्रमुख मोहन भागवत का दो दिन का हुआ प्रवास भी अब रंग दिखाने जा रहा है। 1200 एकड़ में बसने वाली नव्य अयोध्या पर काम शुरू हो गया है। कोशिश है कि अगले महीने इसकी आधारशिला मुख्यमंत्री से रखवाई जाए। प्रथम चरण में लखनऊ-गोरखपुर हाईवे से प्रस्तावित नव्य अयोध्या के लिंक रोड, धर्मपथ और आवास विकास के कार्यालय के लिए भूमि की नापजोख मंगलवार को शुरू हो गई।

दरअसल बीते अक्टूबर माह में 19 व 20 को अयोध्या में संघ प्रमुख मोहन भागवत का दो दिवसीय प्रवास रहा। वह जिस कार्यक्रम में आए थे वह कार्यक्रम कारसेवकपुरम में आयोजित था। उसी के पास राम मंदिर निर्माण की कार्यशाला भी है। संघ प्रमुख मोहन भागवत कारसेवकरपुरम से ही रामलला का दर्शन करने जन्मभूमि गए थे। कारसेवक पुरम से राम जन्मभूमि की दूरी लगभग तीन किलोमीटर है। भाजपा के जिम्मेदार सूत्र बताते हैं कि मोहन भागवत को कारसेवक पुरम से राम जन्मभूमि तक जाने में कहीं कुछ अयोध्या में नया परिवर्तन व विकास नहीं दिखा। यहां तक की रामलला का दर्शन करने भी उनको उसी पुराने मार्ग से ले जाया गया जिस रास्ते से तब जाया जाता था जब सुप्रीम कोर्ट का फैसला नहीं आया था।

सूत्र बताते हैं कि मोहन भागवत अयोध्या की इस दशा पर न सिर्फ खिन्न हुए बल्कि उन्होंने अगले दिन शिकायती लहजे में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से पूछ लिया कि चार साल में अयोध्या में हुआ क्या है.? राम जन्मभूमि तक पहुंचने का रास्ता तक नहीं बन पाया। बताते हैं कि मोहन भागवत के इस तेवर की गाज सबसे पहले अयोध्या के डीएम पर गिरी। आठ दिन बाद ही यहां के जिलाधिकारी अनुज कुमार झा को हटाकर प्रतीक्षा सूची में डाल दिया गया था। और अब नए जिलाधिकारी नितीश कुमार के आने के बाद अयोध्या के मुख्य मार्ग से राम जन्मभूमि तक जाने का नया रास्ता बनना शुरू हो गया है।

सूत्र बताते हैं कि मोहन भागवत के अयोध्या से लौटने के बाद प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मुलाकात बीते दिन लखनऊ में हुई। समझा जाता है कि अयोध्या विकास के मुद्दे पर दोनों के बीच गंभीर चर्चा हुई, जिसका नतीजा भी अब यहां दिखने लगा है। अब 1200 एकड़ में बसने वाली नव्य अयोध्या की आधारशिला रखने की तैयारी है। लखनऊ-गोरखपुर हाईवे से नव्य अयोध्या योजना को जोड़ने वाली लिंक रोड की नपाई-जोखाई का काम मंगलवार से शुरू हो गया।

यहीं पर आवास-विकास का नया कार्यालय भी बनना है। नव्य अयोध्या में 100 मीटर चौड़ा एक धर्मपथ बनेगा, जिसका काम प्रथम चरण में शुरू करने की तैयारी है। यहां लिंक रोड की नापजोख करते हुए मिले आवास-विकास के सहायक अभियंता आरबी वर्मा ने बताया कि लिंक रोड और आवास विकास कार्यालय का काम शुरू किया गया है। इसके शिलान्यास की तैयारी है। उन्होंने बताया कि सुनने में आ रहा है कि जनवरी के पहले हफ्ते में किसी भी दिन मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी इसके शिलान्यास को आ सकते हैं।

यह है नव्य अयोध्या

1200 एकड़ में प्रस्तावित नव्य अयोध्या आधुनिक सुविधाओं से युक्त ग्रीन फील्ड टाउनशिप होगी। इसमें थ्री से सेवन स्टार तक के होटल, विभिन्न राज्यों के गेस्ट हाउस, कॉमर्शियल व आवासीय भूखंड और लगभग 10 विदेशी राष्ट्रों के गेस्ट हाउस के लिए जमीनें आरक्षित होंगी। इसके लिए कुल तीन गांव क्रमश: शाहनवाजपुर, बरेहटा और तिहुरा के 1523 किसानों व सरकारी जमीनों को मिलाकर 1200 एकड़ जमीन ली गई है।

जानिए, कितने स्क्वायर मीटर में क्या बनेगा

नव्य अयोध्या में 163342 के स्क्वायर मीटर में आश्रम, 571724 स्क्वायरमीटर में होटल बनेगा। इसके अलावा 924974 स्क्वायर मीटर जमीन आवासीय, 332363 स्क्वायर मीटर एरिया कॉमर्शियल होगा। इसी के साथ 602213 स्क्वायर मीटर में हरियाली की व्यवस्था होगी।

यह भी पढ़ें:-अयोध्या में बनेगा राम, भक्ति, धर्म व जन्मभूमि पथ

ताजा समाचार