पीलीभीत: सिर्फ कागजों में ही दिख रही हरियाली, रोड किनारे लगे ट्री गार्ड पड़े खाली

पीलीभीत, अमृत विचार। शहर का पर्यावरण क्यों न खराब हो, जब सरकारी सिस्टम जमीन के बजाए कागजों में पौधारोपण कर रहा है। पर्यावरण और हरियाली को बढ़ावा देने के लिए हर वर्ष लाखों रुपये खर्च किए जाते हैं, लेकिन देखरेख के अभाव में तीन साल पहले लगाए गए पौधों में 70 फीसदी फल फूल नहीं …
पीलीभीत, अमृत विचार। शहर का पर्यावरण क्यों न खराब हो, जब सरकारी सिस्टम जमीन के बजाए कागजों में पौधारोपण कर रहा है। पर्यावरण और हरियाली को बढ़ावा देने के लिए हर वर्ष लाखों रुपये खर्च किए जाते हैं, लेकिन देखरेख के अभाव में तीन साल पहले लगाए गए पौधों में 70 फीसदी फल फूल नहीं सके हैं। सिस्टम की हीलाहवाली के चलते यह पौधे पेड़ बनने से पहले ही सूख गए हैं, लेकिन इसके बाद भी सरकारी रिकॉर्ड में सड़क किनारे हरियाली छाई हुई है। जबकि वहां पौधा तो दूर की बात उसका अंश भी दिखाई नहीं देता है। पेड़ न होने की वजह से गर्मी के मौसम में लोगों को परेशानी उठानी पड़ती है।
शासन के निर्देश पर हर वर्ष हरियाली महोत्सव मनाया जाता है। वर्ष 2019 में जुलाई माह में 23 लाख से अधिक पौधे रोपण का लक्ष्य दिया गया था। जिसके बाद प्रशासन ने सभी विभागों को पौधा रोपण के लिए टारगेट निर्धारित किया था। इसमें जिला प्रशासन की ओर से शहर की ग्रीन बेल्ट में नौ सौ पौधे रोपित किए गए थे तो वहीं शहर में नगर पालिका को भी 4800 पौधों का लक्ष्य मिला था।
नगर पालिका का दावा है कि उनकी ओर से हरियाली को बढ़ावा देने के लिए केजीएन कॉलोनी, आवास विकास कॉलोनी, ड्रमंड राजकीय इंटर कॉलेज, जिला अस्पताल रोड, जिला अस्पताल कैंपस और ईदगाह चौराहा से लेकर कचहरी तिराहा तक पौधा रोपण करने की बात कह रहा है। इतना ही नहीं पौधों को सुरक्षित करने के लिए करीब 50 हजार की लागत से ट्री गार्ड भी बनवाए गए थे। उनके रिकॉर्ड में सभी पौधों के संरक्षित होने का दावा किया। मगर, धरातल पर नगर पालिका ही नहीं बल्कि अन्य विभागों की ओर से रोपित किए गए पौधे अब सूख गए हैं।
पौधे लगाने के बाद उनको पानी और देखरेख न होने के कारण वह खत्म होने लगे, जबकि शासन का आदेश था कि पौधा रोपण के बाद अधिकारियों को देखभाल करने के लिए भी निर्देशित किया गया था। लेकिन फिर भी किसी विभाग की ओर से देखभाल नहीं की, इसका नतीजा यह हुआ कि तीन साल पहले लगे इन पौधों का अस्तिव भी खत्म हो चुका है।
शहर में पालिका की ओर से जिला अस्पताल रोड पर लगाए गए पौधों की जगह अब सिर्फ ट्री गार्ड ही लगे रहे गए हैं, तो वहीं ड्रमंड कॉलेज में भी अधिकतर पौधे सूख गए हैं। पौधारोपण के बाद पौधों को सुरक्षित रखने पर गंभीरता से ध्यान दिया जाता है, तो शायदा 50 फीसदी पौधे ही पेड़ का रूप ले चुके होते। जिसकी वजह से शहर की सड़कों पर हरियाली नजर आती।
जारी किए लक्ष्य के सापेक्ष पौधे रोपित किए गए थे। 2019-20 में पौधरोपण किया गया था। कुछ स्थानों पर पौधे सूख गए हैं। जिनको दिखवाया जाएगा। साथ ही नए पौधे लगाने को लेकर विचार विमर्श कर रहे हैं। – सुरेंद्र प्रताप, ईओ, नगर पालिका
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