क्षय रोग से डरे नहीं कराएं सिर्फ उपचार

अमृत विचार, बरेली। आमतौर पर लोग सोचते हैं कि अगर कोई व्यक्ति टीबी से पीड़ित है तो उसके फेफड़े ही संक्रमित होंगे, लेकिन ऐसा नहीं है। टीबी के बैक्टीरिया से शरीर का अन्य अंग हडि्डयां, जोड़, पेट, आंत, दिमाग, किडनी, जननांग व मुंह-नाक आदि भी अंग संक्रमित हो सकते है । यह जानकारी जिला क्ष्य …
अमृत विचार, बरेली। आमतौर पर लोग सोचते हैं कि अगर कोई व्यक्ति टीबी से पीड़ित है तो उसके फेफड़े ही संक्रमित होंगे, लेकिन ऐसा नहीं है। टीबी के बैक्टीरिया से शरीर का अन्य अंग हडि्डयां, जोड़, पेट, आंत, दिमाग, किडनी, जननांग व मुंह-नाक आदि भी अंग संक्रमित हो सकते है । यह जानकारी जिला क्ष्य रोग अधिकरी डा.कैलाश चंद्र जोशी ने दी, उन्होंने बताया कि जनपद में 10 मार्च से 24 मार्च तक संचारी रोग नियंत्रण दस्तक अभियान चलाया जाएगा। इस अभियान में आशा कार्यकर्तायें घर घर जाकर क्षय रोगी को खोजेंगे।
जिला क्षय रोग अधिकारी डा. कैलाश चंद्र जोशी ने बताया कि टीबी दो प्रकार की होती है। फेफड़ों में टीबी होने पर इसे पल्मोनरी कहते हैं और फेफड़ों के बाहर किसी भी अंग में टीबी होने पर इसे एक्सट्रा पल्मोनरी के नाम से जाना जाता है। बताया कि जिले में 2020 में 12927 टीबी के मरीज पंजीकृत हुए थे | 2021 में अब तक 2275 टीबी के मरीजों को पंजीकृत किया जा चुका है | सभी पंजीकृत मरीजों का इलाज चल रहा है।
टीबी (क्षय रोग) के लक्षण
- लगातार तीन हफ्तों से खांसी का आना और आगे भी जारी रहना।
- खांसी के साथ खून का आना।
- छाती में दर्द और सांस का फूलना।
- वजन का कम होना और ज्यादा थकान महसूस होना।
- शाम को बुखार का आना और ठण्ड लगना।
- रात में पसीना आना।