निर्मला कॉन्वेंट, एपीएस, मदर ग्लोरी गुरु नानक स्कूल, एसजीआरआर बिंदल पब्लिक स्कूलों पर आरोप

निर्मला कॉन्वेंट, एपीएस, मदर ग्लोरी गुरु नानक स्कूल, एसजीआरआर बिंदल पब्लिक स्कूलों पर आरोप

 हल्द्वानी, अमृत विचाार: जिला प्रशासन और शिक्षा विभाग की छापेमारी और कुछ निजी स्कूलों को नोटिस देने के बाद भी पब्लिक स्कूलों की मनमानी पर लगाम नहीं लग रही है। इसका ताजा उदाहरण मुख्य शिक्षा अधिकारी कार्यालय को मिली शिकायतें हैं, जिसमें शहर के प्रतिष्ठित स्कूलों के विरुद्ध अभिभावकों ने शिकायत दर्ज कराई हैं। 

अभिभावकों ने ई-मेल के माध्यम से भेजी शिकायतों में फीस बढ़ाने के आरोप लगाए हैं। साथ ही, कॉपी-किताबों की खरीदारी के लिए भी अभिभावकों को एक तय दुकान पर भेजने की शिकायत की है। शहर के प्रमुख स्कूलों में शुमार निर्मला कॉन्वेंट स्कूल के खिलाफ भी शिकायत दर्ज कराई गई है। इसके साथ ही, ऑर्डन पब्लिक स्कूल, मदर ग्लोरी गुरु नानक स्कूल और एसजीआरआर बिंदल पब्लिक स्कूल के विरुद्ध शिकायत दर्ज कराई गई है। पिछले दिनों प्रशासन, शिक्षा विभाग और जीएसटी विभाग ने संयुक्त रूप से शहर की प्रमुख स्टेशनरी की दुकानों पर छापेमारी की थी। इस दौरान दुकानों की स्कूलों के साथ साठगांठ होने, बिना जीएसटी बिल के कॉपी-किताबें बेचने और अभिभावकों को स्कूल की ओर से एक निर्धारित दुकान पर भेजे जाने का मामला सामने आया था जिस पर शिक्षा विभाग ने चिन्हित स्कूलों को नोटिस भेजने और कार्रवाई करने का दावा किया था, लेकिन अभी तक इन स्कूलों पर कोई कार्रवाई नहीं की गई है।

बिना कारण बढ़ाई मासिक फीस, एक ही दुकान से किताबें खरीदने की मजबूरी

ऑर्डन पब्लिक स्कूल के खिलाफ दर्ज कराई शिकायत में एक अभिभावक ने आरोप लगाते हुए बताया कि स्कूल प्रबंधन ने अपनी मासिक फीस को 2400 रुपये से बढ़ाकर 2600 रुपये कर दिया है। स्कूल ने फीस बढ़ाने को लेकर उचित कारण नहीं बताया है। साथ ही, उन्हें कॉपी-किताबें खरीदने के लिए भी एक तय दुकान पर भेजा गया, जहां उन्हें महंगी किताबें खरीदने को मजबूर होना पड़ा। इसी तरह निर्मला कॉन्वेंट स्कूल, मदर ग्लोरी गुरु नानक स्कूल और एसजीआरआर बिंदल पब्लिक स्कूल के विरुद्ध भी इस तरह की शिकायतें की गई हैं। 



स्कूलों के नाम सार्वजनिक करें शिक्षा अधिकारी

अभिभावक संघर्ष समिति ने आरोप लगाया कि स्कूलों की ओर से निर्धारित की गई ड्रेस बीच सत्र में बदली जा रही है। साथ ही, स्कूलों की ओर से कॉपी-किताबें खरीदने के लिए एक निश्चित दुकान पर भेजा जा रहा है। स्कूलों पर कार्रवाई का भी कोई डर दिखाई नहीं दे रहा है। 


समिति के अध्यक्ष मदन मोहन जोशी ने कहा कि छापेमारी के बाद अधिकारियों ने निजी स्कूलों को चिन्हित कर नोटिस देने की बात कही थी लेकिन अभी तक इन स्कूलों के नाम सार्वजनिक नहीं किए गए हैं। उन्होंने स्कूलों के नाम सार्वजनिक करने की मांग की है ताकि यह स्पष्ट हो सके कि कार्रवाई निष्पक्ष और पारदर्शी तरीके से की गई है। समिति ने प्रदेश में शीघ्र ही निजी स्कूलों के लिए फीस नीति बनाने की मांग की जिससे अभिभावकों से मनमानी फीस नहीं वसूली जा सके।

साथ ही कहा कि कई निजी स्कूलों की ओर से शिक्षा विभाग और सीबीएसई की गाइडलाइन का पालन भी नहीं किया जा रहा है। जोशी के अनुसार, समिति ने निजी स्कूलों की मनमानी का विरोध करते हुए शिक्षा मंत्री और अधिकारियों को पत्र भेजकर इस मुद्दे को उठाया था, लेकिन अभी तक कोई ठोस कार्रवाई नहीं की गई है।

शिक्षा विभाग की ओर से गठित टीमें जांच करेंगी, अनियमितताएं पाए जाने पर संबंधित स्कूलों के विरुद्ध उचित कार्रवाई की जाएगी। -एपी वाजपेयी, सिटी मजिस्ट्रेट, हल्द्वानी


शहर के चार प्रतिष्ठित स्कूलों के विरुद्ध मुख्य शिक्षाधिकारी कार्यालय की ई-मेल पर शिकायतें दर्ज हुई हैं। इन शिकायतों की जांच के लिए बीईओ को भेजा गया है। जांच के बाद आवश्यक कार्रवाई की जाएगी। -गोविंद राम जायसवाल, सीईओ, नैनीताल 

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