पूरे नहीं हुए वादेंः CHC पर नहीं बन सकी BSU, एनएचएम ने दोबारा दिए निर्देश
गर्भवती महिलाओं और थैलेसीमिया के मरीजों के लिए शुरू होनी थी यूनिट
लखनऊ, अमृत विचार: गर्भवती महिलाओं और थैलेसीमिया पीड़ित मरीजों को जरूरत पड़ने पर अस्पताल में ही खून उपलब्ध हो सके, इसके लिए राजधानी के प्रमुख महिला अस्पताल और सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्रों (सीएचसी) पर ब्लड स्टोरेज यूनिट (बीएसयू) का संचालन के निर्देश एनएचएम के जरिये दिए गए थे। लेकिन कई प्रमुख अस्पतालों में यह यूनिट नहीं बनाई जा सकी। इसे बनाने की जिम्मेदारी स्वास्थ्य विभाग की है। जिम्मेदारों की लापरवाही के चलते मरीजों को दिक्कत का सामना करना पड़ रहा।
राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन (एनएचएम) की ओर से महिला अस्पतालों में ब्लड स्टोरेज यूनिट बनाने के निर्देश दिए गए थे। शहर के सबसे प्रमुख महिला अस्पताल वीरागंना झलकारीबाई और वीरांगना अवंतीबाई महिला अस्पताल में ब्लड स्टोरेज यूनिट नहीं बनाई गई है। यह यूनिट उन सीएचसी या बीएमसी पर भी बननी थी, जहां पर महिलाओं का प्रसव होता है। इससे गर्भवती को ऑपरेशन के दौरान इमरजेंसी में मौके पर ही खून मुहैया हो जाता है। कुछ सीएचसी पर यह ब्लड स्टोरेज यूनिट क्रियाशील है, लेकिन ज्यादातर जगह पर अभी तक बन नहीं सकी है।
एनएचएम की ओर से सभी महिला अस्पताल और सीएचसी पर ब्लड स्टोरेज यूनिट बनाने के निर्देश सीएमओ कार्यालय को दोबारा दिए गए हैं। साथ ही इसके लिए एक नोडल अधिकारी नियुक्त करने को भी कहा गया है। अब सीएमओ कार्यालय ने इसकी कवायद तेज कर दी है। सीएमओ डॉ. एनबी सिंह ने बताया कि यह सुनिश्चित करने की कोशिश की जा रही है कि सभी सीएचसी, बीएमसी और महिला अस्पताल में बीएसयू शुरू की जा सके। इसके लाइसेंस आदि की जो भी प्रक्रिया है, वह जल्द पूरी कराई जा सके।
यहां नहीं बन सकी यूनिट
वीरांगना झलकारीबाई महिला अस्पताल, वीरांगना अवंतीबाई महिला अस्पताल (डफरिन), सीएचसी माल, टूड़ियागंज, इटौंजा, एनके रोड, गुडम्बा में नहीं है। मलिहाबाद व गोसाईंगंज में ब्लड स्टोरेज यूनिट बनी हुई है।
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