Kanpur: ट्रेन पलटाने की साजिश: सुरक्षा एजेंसियों ने दोहराया क्राइम सीन; 50 मीटर दूर गिरा सिलेंडर, कई कोचों में मिले निशान
कानपुर, अमृत विचार। भिवानी से प्रयागराज जा रही कालिंदी एक्सप्रेस हादसे के मामले में बुधवार को सुरक्षा जांच एजेंसियों ने क्राइस सीन रिक्रिएट किया। लखनऊ से आई एफएसएल ने घटना से जुड़ा नक्शा तैयार किया है, जिसमें साफ हुआ कि टक्कर के बाद गैस सिलेंडर करीब 50 मीटर दूर जाकर गिरा। इस दौरान सिलेंडर ट्रेन के 13 कोच से टकराया था। इसके साथ ही टीम ने घटना से जुड़े अन्य साक्ष्य भी एकत्र किया।
रविवार रात कालिंदी एक्सप्रेस हादसे में बुधवार को एटीएस, एसटीएफ, एनआईए समेंत अन्य खुफिया एजेंसियों ने क्राइम सीन दोहराया। जांच एजेंसियों ने ट्रैक पर एक सिलेंडर रखा, क्राइम सीन से सिलेंडर की दूरी नापी गई। टक्कर के बाद सिलेंडर कहां गिरा? कितनी दूरी पर गिरा? इन सब सवालों के जवाब तलाशने का प्रयास किया गया। इसके बाद पूरे क्राइम सीन और घटनास्थल की फोटोग्राफी भी की गई।
जिस जगह बोतल और झोला मिला था वहां टीम ने बोतल और झोला भी रखा और एक-एक कदम को बारीकी से देखा गया। लगभग ढाई घंटे की तक जांच एजेंसियों ने जांच पड़ताल की। जानकारी हुई कि सिलेंडर की चपेट में आने की शुरूआत किमी 37/17 से हुई। पहली टक्कर के बाद सिलेंडर 50 मीटर दूर 77 वें स्लीपर के पास दाहिनी ओर पड़ा मिला।
रेलवे में एक स्लीपर से दूसरे स्लीपर के बीच की दूरी 65 सेंमी होती है। पहले स्लीपर से टक्कर के बाद सिलेंडर चौथे, 7वें, 12वें, 13वें, 14वें, 27वें, 39वें, 48वें और 50वें स्लीपर के बाईं ओर टकराया। सभी स्लीपरों में सिलेंडर के टकराने के निशान भी है। इसके बाद सिलेंडर दाहिनी ओर 59वें, 60वें और 70वें स्लीपर से टकराने के बाद ट्रैक से बाहर जाकर गिरा।
जांच एजेंसियों का मानना है कि सिलेंडर ट्रेन के साथ घिसटता नहीं गया है। वहीं रेलपथ बिल्हौर के जूनियर इंजीनियर ने घटना के संबंध में जो मुकदमा शिवराजपुर में दर्ज कराया है, उसमें गलत तथ्य दिए गए है। जिसकी जानकारी रेलवे ने पुलिस को दी है। रिपोर्ट में बताया गया है कि किमी 37/08 पर सिलेंडर ट्रेन से टकराया, लेकिन जांच में सामने आया कि ट्रेन और सिलेंडर की टक्कर किमी 37/17 और किमी 37/18 के बीच हुई थी।
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