लखनऊ: सत्ता के गलियारों की चर्चा बनी मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की प्रशंसा 

उपमुख्यमंत्री ने सार्वजनिक मंच पर खुले दिल से योगी आदित्यनाथ की तारीफ क्या कर दी वीडियो वायरल हो गए

लखनऊ: सत्ता के गलियारों की चर्चा बनी मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की प्रशंसा 

अजय दयाल/लखनऊ, अमृत विचार। उप मुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य इन दिनों शासन-सत्ता के गलियारों में केवल इसलिए चर्चा में हैं कि वह मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की प्रशंसा कर रहे हैं। सार्वजनिक मंच पर खुले दिल से कुछ दिनों के भीतर उन्होंने योगी आदित्यनाथ की दो बार तारीफ क्या कर दी वीडियो वायरल हो गए।

दरअसल, इसके पीछे बड़ा कारण यह माना जा रहा है कि 7 साल 150 दिन तक मुख्यमंत्री बनने का रिकॉर्ड बनाने वाले योगी आदित्यनाथ के लिए केशव मौर्य ने ऐसी प्रतिक्रिया पहले नहीं दी। इस दौरान दोनों के रिश्तों पर खासकर मुख्य विपक्षी दल समाजवादी पार्टी प्रमुख अखिलेश यादव हमेशा सवाल खड़े करते रहे।

उप मुख्यमंत्री की कथित महत्वाकांक्षा पर तंज कसते हुए सपा प्रमुख ने कहा था कि 'मानसून ऑफर, सौ लाओ, सरकार बनाओ! हालांकि, अपने इस संदेश में अखिलेश यादव ने किसी का नाम नहीं लिया था, लेकिन इसे केशव प्रसाद मौर्य से जोड़कर देखा जा रहा था। यह पहला मौका नहीं था जब पार्टी में कलह की खबरों पर अखिलेश ने निशाना साधा हो। इससे पहले भी वह सोशल मीडिया पर कई पोस्ट कर चुके हैं। ऐसे ही एक पोस्ट में उनका आरोप था कि कुर्सी की लड़ाई के चलते राज्य का प्रशासन ठंडे बस्ते में चला गया है। 

बहरहाल, लोकसभा चुनाव में उत्तर प्रदेश में आए निराशाजनक परिणाम के बाद केशव प्रसाद मौर्य की योगी आदित्यनाथ को लेकर ताजा प्रतिक्रियाओं को बदली राजनीतिक रणनीति के रूप में देखा जा रहा है। अभी राज्य की 10 विधानसभा सीट पर उपचुनाव होने हैं। केन्द्रीय नेतृत्व इसको लेकर गंभीर है और सख्त निर्देश हैं, आपसी मनमुटाव को छोड़कर चुनाव में परिणाम देने को तैयार रहें। अंदरखाने की बात यह है कि, उपचुनाव के परिणाम पर ही सरकार की साख निर्भर होगी, जिसकी समीक्षा के बाद राज्य की संगठनात्मक तस्वीर बदलने या न बदलने की पहल होगी। यानि इन चुनाव में भाजपा के प्रदर्शन के अनुसार ही 2027 को लेकर नेतृत्व और संगठन फैसला लेंगे।

अब प्रयास इस बात का है कि ओबीसी और सवर्ण को लेकर पार्टी के भीतर कोई लकीर न तो कोई खिंचने पाए और न ही अनबन जैसा कोई संदेश निकलने पाए। जबकि, इससे पहले केशव मौर्य ने केवल ओबीसी मुद्दों को लेकर बल्कि संगठन को सरकार से ऊपर होने के बारे में बार-बार बयान देकर मुखर हो रहे थे। इसी बीच पिछले दिनों जब उनकी दिल्ली में केंद्रीय नेतृत्व से मुलाकात हुई तो आने वाले बयान भी बदल गए। 

क्या कहा है केशव प्रसाद मौर्य ने?
एक के बाद एक केशव मौर्य ने दो ऐसे बयान दिए जो चर्चा में हैं। बीते रविवार को मिर्जापुर के मझवा में पार्टी कार्यकर्ताओं के बीच केशव मौर्य ने कहा, हमारी डबल इंजन वाली सरकार देश में सबसे अच्छा काम कर रही है। दुनिया में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जैसा कोई दूसरा नेता नहीं और देश में योगी आदित्यनाथ जैसा कोई दूसरा मुख्यमंत्री नहीं है। वहीं, बुधवार को लखनऊ में कल्याण सिंह की तीसरी पुण्यतिथि पर मौर्य ने कहा, चाहे राष्ट्र भक्ति की बात हो या राम भक्ति की, कल्याण सिंह ने देश और लोगों की गरिमा के साथ कोई समझौता नहीं किया। आज मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में राम भक्ति या राष्ट्र भक्ति के मुद्दे पर कोई समझौता नहीं किया जा रहा है।

संदीप मिश्रा, राजनीतिक विश्लेषक
संदीप मिश्रा, राजनीतिक विश्लेषक

संगठन बड़ा या पार्टी, यह सवाल पहले भी उठता रहा है। पर मूलमंत्र स्पष्ट है- संघे शक्तिः यानि जहां कहीं कोई संगठनात्मक कार्य हो रहा हो, किसी एक ध्येय की प्राप्ति के लिए लोगों का समूह काम कर रहा हो वहां आपसी एकजुटता अत्यावश्यक है- संदीप मिश्रा, राजनीतिक विश्लेषक

डॉ. महेन्द्र के. सिंह, राजनीतिक समीक्षक
डॉ. महेन्द्र के. सिंह, राजनीतिक समीक्षक


योगी आदित्यनाथ न केवल हिंदुत्व का एक बड़ा चेहरा हैं बल्कि राजनीतिक शख्सियत के रूप में उनकी छवि अब राष्ट्रीय स्तर की है। उनके जुड़ीं बातों का देशभर में संदेश जाता है। केन्द्रीय नेतृत्व ने इसे समझा है।
डॉ. महेन्द्र के. सिंह, राजनीतिक समीक्षक