बाढ़ पीड़ितों से मिलने श्रावस्ती पहुंचे मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ, दिया राहत चेक और राहत सामग्री

बाढ़ पीड़ितों से मिलने श्रावस्ती पहुंचे मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ, दिया राहत चेक और राहत सामग्री

श्रावस्ती, अमृत विचार। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने गुरुवार को श्रावस्ती में बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों का दौरा किया। इस दौरान बाढ़ प्रभावितों से मिलकर उनका हाल जाना। उन्होंने राहत शिविरों का भी निरीक्षण किया।

जनपद में आई बाढ़ व कटान का जायजा लेने के लिए मुख्यमंत्री जमुनहा पहुंचे। जहां राप्ती बैराज स्थित गेस्ट हाउस में छह व सात जुलाई की रात रेस्क्यू कर बचाने में मोबाइल द्वारा प्रशासन से संपर्क कर सहयोग करने के लिए रेखा देवी व फ्लड पीएसी के जवानों को प्रशस्ति पत्र देकर सम्मानित किया। इसके साथ ही  बाढ़ में डूबे चार परिवारों को राहत चेक व बाढ़ प्रभावितों को बाढ़ राहत सामग्री वितरित की। इस दौरान मोटर बोट से नदी के दूसरे छोर पर जाकर बाढ़ प्रभावितों से मिल कर उनका हालचाल भी जाना।

जमुनहा गेस्ट हाउस पहुंचे मुख्यमंत्री ने छह व सात जुलाई की रात भरथापुर के निकट परवल के खेत की रखवाली करने गई किशोरियों व महिलाओं सहित 11 लोग जो राप्ती के बाढ़ में घिर गए थे उन्हें सुरक्षित निकालने में सहयोग करने वाली रेखा देवी, व रास्ता बताने वाले  राम उजागर, फ्लड पीएसी के सोनू कुमार, अमरेश कुमार सरोज, शुभम सिंह, सतीश कुमार व मनोज कुमार को प्रशस्ति पत्र देकर सम्मानित किया। साथ ही इन्हें बाद में अलग से सम्मानित करने व जिनके पास आवास नहीं है उन्हें आवास देने के लिए कहा। इस दौरान बाढ़ के पानी में डूबे केवटन पुरवा निवासी लालजी पुत्र डेवा व चेतराम पुत्र फकीर तथा नौखान में डूबी सेहनिया निवासी शाहजहां पुत्री अकबर व जैनब उर्फ निबरी पुत्री मोहर अली के परिजनों को चार-चार लाख रुपये का चेक दिया। इसके साथ ही शिकारी चौड़ा के बुद्धी, भोला, हरिहरपुर कानपुर पिपरहवा कोठी के छेदू व महंगू, वीरपुर लौकिहा के नादिर व जगदीश प्रसाद, जोगिया के राजेंद्र प्रसाद, रीता देवी, रामदयाल व शांति देवी सहित लगभग 100 बाढ़ पीड़ितों को राहत किट दी।

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मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश में 33 तहसील, 633 गांव व 17 लाख 97 हजार आबादी बाढ़ की चपेट में हैं। जहां 18 हजार से अधिक पशु व एक लाख 45 हजार हेक्टेअर कृषि भूमि अचानक जलप्लावन के कारण प्रभावित हुई है। सभी गांवों में एनडीआरएफ, एसडीआरएफ, फ्लड पीएसी व स्थानीय स्तर पर नौकाओं की व्यवस्था की गई है। 1033 बाढ़ चौकी स्थापित कर वहां बाढ़ पीड़ितों को रखा जा रहा है। जिनके घर में पानी भर गया है। उन्हें रेस्क्यू करने की व्यवस्था की गई है। श्रावस्ती में 116 गांव बाढ़ से प्रभावित हुए हैं। जहां पंद्रह गांवों में कटान हुई है। 76 हजार आबादी व 23500 हेक्टेअर कृषि भूमि प्रभावित है। बचाव राहत के लिए एसडीआरएफ, एनडीआरएफ व फ्लड पीएसी के साथ नाव आदि की व्यवस्था की गई है। जिले में चार जनहानि हुई है। पहले से व्यवस्था थी जो भी गांव व व्यक्ति बाढ़ की चपेट में आए हैं, उनके लिए राहत पैकेज  की व्यवस्था है। सरकार ने आपदा राहत निधि से इसके लिए पहले ही व्यवस्था बना रखी है।

कोई न रहने पाए भूखा 
इस दौरान मुख्यमंत्री योगी ने कि पूरी तैयारी रखें कोई भूखा न रहे। बाढ़ व कटान प्रभावित गांव में सर्पदंश व जानवरों के काटने की भी घटनाएं हो सकती है। इसके लिए सभी सीएचसी में एंटी स्नेक वेनम व एंटी रैबीज उपलब्ध कराने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि सरकार ऐसी स्थिति में तत्परता से कार्य कर रही है। हमने उन परिवारों से भी मुलाकात की जो सात व आठ जुलाई की रात बाढ़ में फंस गए थे। इस दौरान जल शक्ति मंत्री स्वतंत्र देव सिंह, जिला पंचायत अध्यक्ष दद्दन मिश्रा, श्रावस्ती विधायक रामफेरन पांडे, एमएलसी डा. प्रज्ञा त्रिपाठी, पदमसेन चौधरी, डीएम अजय कुमार द्विवेदी, एसपी घनश्याम चौरसिया सहित पूरा प्रशासनिक अमला मौजूद रहा।

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