Chitrakoot News: बसपा प्रत्याशी ने तीन अधिकारियों पर उठाए सवाल...मतदान प्रक्रिया से पृथक करने की मांग

चित्रकूट में बसपा प्रत्याशी ने तीन अधिकारियों पर उठाए सवाल

Chitrakoot News: बसपा प्रत्याशी ने तीन अधिकारियों पर उठाए सवाल...मतदान प्रक्रिया से पृथक करने की मांग

चित्रकूट, अमृत विचार। चार जून को होने वाली मतगणना में तीन अधिकारियों को लेकर बहुजन समाज पार्टी के प्रत्याशी मयंक द्विवेदी ने आपत्ति जताई है। उन्होंने इस संबंध में जिलाधिकारी को पत्र भेजा है और अधिकारियों को मतगणना से पृथक किए जाने की मांग की है।

गौरतलब है कि चार जून को राष्ट्रीय रामायण मेला परिसर में चित्रकूट और मानिकपुर विधानसभा क्षेत्रों के मतों की गणना होगी। इस संबंध में बसपा प्रत्याशी ने जिलाधिकारी को भेजे पत्र में कहा है कि उपायुक्त मनरेगा धर्मजीत सिंह, बेसिक शिक्षाधिकारी लव यादव, उप जिलाधिकारी सौरभ यादव द्वारा मतदान प्रक्रिया बाधित किए जाने व पक्षपात किए जाने की प्रबल संभावना है। 

उन्होंने डीएम से अनुरोध किया है कि तीनों अधिकारियों को स्वतंत्र और निष्पक्ष मतगणना को ध्यान में रखते हुए मतगणना प्रक्रिया से पृथक किया जाए। इनके स्थान पर अन्य समकक्षीय अधिकारियों की तैनाती की जाए। 

उन्होंने इसकी प्रतिलिपि मुख्य निर्वाचन अधिकारी राज्य निर्वाचन आयोग उप्र और रिटर्निंग आफीसर लोकसभा क्षेत्र बांदा को भी भेजी हैं। उधर, इस संबंध में जिला निर्वाचन अधिकारी/ जिलाधिकारी अभिषेक आनंद ने बताया कि उनको अभी लेटर प्राप्त नहीं हुआ है। लेटर प्राप्त होने पर देखेंगे।

ये भी पढ़ें- Kanpur News: पोस्टमार्टम हाउस शवों से पटा...गश खाकर गिरे डॉक्टर, प्रभारी भी बीमार, जिलाधिकारी से रैन बसेरा की मांग

ताजा समाचार

Heatwave alert : यूपी-बिहार रहे तैयार! इस बार आसमान से बरसेगी आग, IMD ने जारी की चेतावनी 
अनुभवी फॉरवर्ड वंदना कटारिया ने अंतरराष्ट्रीय हॉकी को कहा अलविदा, बोलीं-भारत की जर्सी पहनने का गर्व हमेशा मेरे मन में गूंजता रहेगा
होटल में गोलीबारी: एक कांस्टेबल समेत चार गिरफ्तार, दो पिस्तौल, एक कार बरामद, जानें पूरा मामला
बरेली: प्रेम प्रसंग के विवाद में आमने-सामने आए दो पक्ष, मारपीट में चार घायल
लखीमपुर खीरी: ट्रैफिक लाइट सिग्नल से होगा जाम पर काबू, जल्द ही यातायात में सुधार की उम्मीद
मुरादाबाद : अपने पालतू कुत्तों का कराएं पंजीकरण, अन्यथा पकड़ ले जाएगी नगर निगम की टीम...लगेगा 20,000 रुपये जुर्माना