रामपुर: परवानों में गलती के चलते जमानत पर रिहा नही हो सकीं पूर्व सांसद
18 अक्टूबर 2023 को दो जन्म प्रमाण पत्र मामले में सुनाई थी सात साल की सजा
रामपुर, अमृत विचार। दो जन्म प्रमाणपत्र मामले में हाईकोर्ट से कुछ रोज पहले डॉ. तजीन फात्मा,सपा नेता आजम खां, अब्दुल्ला आजम खां को जमानत मिल गई है। हालांकि अभी आजम खां और उनके बेटे अब्दुल्ला का जेल से आने का तय नहीं हुआ है। लेकिन पूर्व सांसद डा. तजीन फात्मा का जमानत के बाद जेल से रिहा होने का रास्ता साफ हो गया है। मंगलवार को परवानों में कुछ त्रुटि होने के कारण वह जेल से रिहा नहीं हो सकीं। हालांकि, सपाई देर शाम तक उनका जिला कारागार के गेट पर इंतजार करते रहे।
पूर्व सांसद डा. तजीन फात्मा की रिहाई का सोमवार को आदेश दाखिल कर दिया था। मंगलवार को सपाई शाम से जेल के बाहर इंतजार कर रहे,लेकिन परवानों में कुछ कमियां हो जाने के बाद मंगलवार को तजीन फात्मा जेल से रिहा नहीं हो सकीं।
बता दें कि अब्दुल्ला के दो फर्जी जन्म प्रमाण पत्र मामले में भाजपा नेता आकाश सक्सेना ने सपा नेता आजम खां, डा.तजीन फात्मा और अब्दुल्ला आजम खां को आरोपी बनाया गया था। पुलिस ने विवेचना के बाद मामले में चार्जशीट कोर्ट में दाखिल की थी।
यह मामला एमपी-एमएलए मजिस्ट्रेट ट्रायल कोर्ट में चल रहा था। 18 अक्टूबर 2023 को कोर्ट ने तीनों को सात-सात साल की सजा सुनाई थी। जिसके बाद तीनों लोग अलग-अलग जेल में शिफ्ट कर दिए गए थे। डा. तजीन फात्मा रामपुर जिला कारागार में अपनी सजा काट रहीं थीं।
इस मामले में आजम खां के अधिवक्ता ने हाईकोर्ट में जमानत के लिए प्रार्थना पत्र दिया था। जिसमें कुछ रोज पहले ही हाईकोर्ट ने तीनों को जमानत दे दी थी। सोमवार को आदेश को कोर्ट में दे दिया था और उसके बाद जमानती तस्दीक कराए गए थे। पूरी प्रकिया होने के बाद मंगलवार को परवाने जिला कारागार पहुंच गए। जहां जांच करने पर कुछ परवानों में नाम और धाराएं गलत हैं। जिसके बाद डा. तजीन फात्मा की रिहाई रुक गई।
हालांकि, शाम से ही सपाई जिला कारागार के पास एकत्र होने लगे थे। जिसमें पूर्व जिलाध्यक्ष वीरेंद्र गोयल, यूसुफ मालिक, अदीब आजम, ओमेंद्र चौहान, राधेश्याम राही, जावेद खान, आसिम खां, शानी खां और अमरीश पटेल आदि शामिल थे। लेकिन रिहाई नहीं होने की जानकारी मिलने के बाद वापस लौट गए।
जेल से डा. तजीन को लेने पहुंच गया था कारों का काफिला
जिला कारागार रामपुर से डा. तजीन फात्मा की रिहाई के बाद उन्हें लेने के लिए कारों का काफिला पहुंच गया था। कारों का काफिला देखने के बाद लोगों की भीड़ एकत्र होने लगी थी। लेकिन देर शाम को इंतजार कर रहे लोगों को जब पता लगा कि परवानों में कुछ गलती है और डा. तजीन फात्मा मंगलवार को जेल से रिहा नहीं हो पाएंगी। तब वे लोग जेल के बाहर से चले गए।
जिला कारागार को भेजे गए परवानों में कुछ नाम गलत हो गए हैं। वह कोर्ट से सही हो जाएंगे। उसके बाद जिला कारागार को भेज दिए जाएंगे। इसके बाद आगे की कार्रवाई होगी- जुबैर अहमद,सुप्रीम कोर्ट अधिवक्ता
डॉ. तजीन फात्मा के कुछ परवानों में काफी कमियां हैं। जिस कारण से उनको नहीं छोड़ा गया है। बुधवार को दोबारा से परवाने सही होकर आएंगे- प्रशांत मौर्य,जेल अधीक्षक।
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