गरमपानी: कुमाऊं की सबसे बड़ी बाखली को पहचान दिलाने की कवायद तेज

गरमपानी, अमृत विचार। रामगढ़ ब्लॉक के कुमाटी गांव में स्थित ऐतिहासिक बाखली के संवर्धन व पर्यटन गतिविधियां विकसित किए जाने की कवायत तेज हो गई है। कई चरणों के सर्वे के बाद अब बाखली स्वामियों से अनापत्ति प्रमाण पत्र लेने का कार्य भी शुरू कर दिया गया है। सीडीओ के निर्देश पर विभिन्न विभागों की टीम ने पंचायत प्रतिनिधियों व ग्रामीणों के साथ बैठक की। पूर्व में 2.72 करोड़ रुपये की डीपीआर तैयार कर शासन को भेजी जा चुकी है।
कुमाऊं की ऐतिहासिक बाखली को पर्यटन व रोजगार की दृष्टि से विकसित करने तथा कुमाटी गांव को नई पहचान दिलाने के मकसद से पर्यटन विभाग ने विस्तृत कार्ययोजना तैयार की है। पूर्व में विभागीय अधिकारी कई दौर के सर्वे भी कर चुके हैं। बकायदा पहले चरण के कार्यों के लिए 2.72 करोड़ रुपये की डीपीआर बनाकर सरकार को भी भेजी जा चुकी है। कार्यों में तेजी लाने के मकसद से मुख्य विकास अधिकारी डा. संदीप तिवारी के निर्देश पर बुधवार को पर्यटन, राजस्व, केएमवीएन तथा ब्लॉक मुख्यालय के अधिकारियों की टीम गांव पहुंची।
क्षेत्र पंचायत सदस्य निर्मला जीना की अध्यक्षता में हुई बैठक में तमाम अहम बिंदुओं पर चर्चा हुई। 24 कमरों की बाखली के करीब 18 भवन स्वामियों से अनापत्ति प्रमाण पत्र लिए गए जबकि अन्य लोगों ने भी जल्द अनापत्ति प्रमाण पत्र उपलब्ध कराने पर सहमति जताई। विभागीय अधिकारियों ने कहा की जल्द ही एनओसी को सरकार को भेजा जाएगा ताकि बजट उपलब्ध हो सके।
अधिकारियों ने क्षेत्रवासियों को बाखली के आसपास किए जाने वाले कार्यों की भी जानकारी दी। जिला पंचायत सदस्य प्रतिनिधि राकेश कपिल ने कहा की कुछ दिन पूर्व देहरादून में पर्यटन सचिव सचिन कुर्वे से भी इस मामले में विस्तार से चर्चा हुई है। इस दौरान पर्यटन विभाग के पीएस मनराल, सांसद प्रतिनिधि प्रमोद कुमार, एडीओ पंचायत गोपाल राम वर्मा, विनीत भट्ट, ललित सुनोरी, गोपाल जोशी, तारा दत्त जोशी, भीम सिंह बिष्ट, सुरेश वर्मा, आंनद जोशी, मोहन शर्मा आदि मौजूद रहे।