बरेली: झूठी रिपोर्ट... ईओ नवाबगंज के लिए, हर समस्या का यही एक समाधान
बरेली, अमृत विचार। एक झूठी रिपोर्ट बगैर हाथ-पैर हिलाए सारी समस्याओं का सरकारी समाधान कर सकती है। नवाबगंज नगर पालिका परिषद के अधिशासी अधिकारी (ईओ) की इस कार्यप्रणाली की पोल एसडीएम ने खोल दी है।
एसडीएम की ओर से डीएम को भेजी गई रिपोर्ट के मुताबिक ईओ समाधान दिवस में आने वाली शिकायतों के निस्तारण की रिपोर्ट अपने बाबू के हस्ताक्षरों से जारी करा रहे हैं। शिकायतों का समाधान किए बगैर फर्जी रिपोर्ट भी दी जा रही हैं। उन्होंने एक शिकायत के फर्जी निस्तारण का भी जिक्र किया है।
एसडीएम ने इस रिपोर्ट में उल्लेख किया है कि पांच अगस्त को डीएम की अध्यक्षता में नवाबगंज तहसील में संपूर्ण समाधान दिवस का आयोजन किया गया था। इसमें आई नगर पालिका से संबंधित शिकायतों को संदर्भ संख्या 30078823000570 और 30078823000592 के साथ निस्तारण के लिए ईओ को दिया गया था, लेकिन उन्होंने अपेन कार्यालय के बाबू से हस्ताक्षर कराकर झूठी रिपोर्ट भेज दी।
ईओ की झूठी रिपोर्ट पकड़ में आने के बाद उन्हें दोबारा निष्पक्ष जांच के लिए मामला भेजा गया लेकिन अब 22 दिन बाद भी उन्होंने रिपोर्ट नहीं दी है। इस वजह से जनसुनवाई पोर्टल पर दोनों शिकायतें डिफाल्टर की श्रेणी में दिख रही हैं।
एसडीएम की रिपोर्ट को प्रभारी अधिकारी संपूर्ण समाधान दिवस को संदर्भित कर दिया गया है। एसडीएम ने अपनी रिपोर्ट में यह भी जिक्र किया है कि ईओ शासन की प्राथमिकताओं वाले मामलों में भी दिलचस्पी नहीं ले रहे हैं।
वह पहले भी संपूर्ण समाधान दिवस में आने वाली शिकायतों के निस्तारण की रिपोर्ट खुद अपने हस्ताक्षर से जारी करने के बजाय अपने बाबू के हस्ताक्षर से जारी करा रहे हैं। लगातार ऐसा करना उनकी अनुशासनहीनता को दर्शाता है।
झूठी रिपोर्ट देना और भी अफसरों की आदत, भटकते रहते हैं फरियादी आईजीआरएस पर की जाने वाली शिकायतें हों या संपूर्ण समाधान दिवस में आने वाली फरियादें, शासन की तमाम हिदायतों के बावजूद कई अफसर इन्हें गंभीरता से लेने के लिए तैयार नहीं हैं।
यही वजह है कि लोगों को इंसाफ नहीं मिल पाता और वे जिला मुख्यालय से लेकर राजधानी तक चक्कर काटते रहते हैं। संपूर्ण समाधान दिवस के अलावा आईजीआरएस की शिकायतों के भी डिफाल्टर श्रेणी में दर्ज किए जाने की संख्या काफी ज्यादा है।
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