अयोध्या: एडीए की कार्रवाई के बाद 800 परिवार ने पकड़ी आंदोलन की राह, सांसद और डीएम से की मुलाकात

अयोध्या: एडीए की कार्रवाई के बाद 800 परिवार ने पकड़ी आंदोलन की राह, सांसद और डीएम से की मुलाकात

अयोध्या। मांझा जमथरा इलाके में तीन दिन पहले अयोध्या विकास प्राधिकरण द्वारा की गई ध्वस्तीकरण की कार्रवाई को लेकर 800 परिवारों में खौफ छाया है। घोषित डूब क्षेत्र में अवैध प्लाटिंग बता कर की गई कार्रवाई के बाद प्रभावित लोगों ने आंदोलन की राह पकड़ ली है। इसे लेकर शनिवार को यहां करीब 250 लोगों …

अयोध्या। मांझा जमथरा इलाके में तीन दिन पहले अयोध्या विकास प्राधिकरण द्वारा की गई ध्वस्तीकरण की कार्रवाई को लेकर 800 परिवारों में खौफ छाया है। घोषित डूब क्षेत्र में अवैध प्लाटिंग बता कर की गई कार्रवाई के बाद प्रभावित लोगों ने आंदोलन की राह पकड़ ली है। इसे लेकर शनिवार को यहां करीब 250 लोगों ने सांसद लल्लू सिंह और डीएम नितिश कुमार से मुलाकात की। लोगों ने प्राधिकरण की कार्रवाई को गलत बताते हुए न्याय की मांग की है।

प्रभावित लोगों ने कार्रवाई वाले क्षेत्र को ताराजीपुरम कॉलोनी बताते हुए रविवार को अयोध्या आ रहे मुख्यमंत्री से भी मिलने की बात कही है। इन लोगों का कहना है कि 2014 से यहां भूमि लेकर 800 लोगों ने मकान बनाए, जिसकी खसरा खतौनी भी उनके पास है। हाउस और वाटर टैक्स के साथ बिजली बिल भी अदा कर रहे हैं। अब प्राधिकरण इस क्षेत्र में निर्माण और जमीन खरीद को अवैध बता रहा है।

लोगों ने बताया कि अभी भी यहां 700 प्लांट हैं जिनमें से कुछ पर प्राधिकरण ने कार्रवाई की है। प्रेम कुमार गुप्ता और अशोक सिंह का कहना है कि यहां 30 प्रतिशत परिवार तो सेना के हैं। इसके अलावा अन्य विभागों में तैनात लोगों के भी आवास हैं। लोगों ने बताया कि सभी ने सांसद को अपनी समस्या से अवगत कराया है। सांसद लल्लू सिंह ने उचित सहयोग का आश्वासन दिया है। डीएम ने भी मामले में जांच करा कर न्याय संगत कार्रवाई की बात कही है।

सांसद और डीएम से मिलने वाले लोगों में भारी संख्या में महिलाएं भी शामिल थीं, जिन्होंने अपनी व्यथा सुनाई। लोगों का कहना है कि रविवार को अयोध्या आ रहे मुख्यमंत्री से भी मिलने का प्रयास किया जायेगा। समस्या को लेकर प्रभावित होने वाले कैसरगंज सांसद बृजभूषण शरण सिंह से भी मिलेंगे। इससे पहले अयोध्या विधायक से मुलाकात कर चुके हैं।

नहीं आ रही है नींद

सांसद व डीएम से मिलने पहुंची महिलाओं ने कहा कि जब से कुछ प्लांटों पर कार्रवाई की गई है तब से रातों को नींद तक नहीं आ रही है। परिवार मानसिक रूप से परेशान हैं। कहना है कि सात वर्षों से यहां रह रहे हैं अवैध था तो इससे पहले क्यों नहीं कार्रवाई की गई।

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