बेटियों की सुरक्षा के लिए शुरू होगा ’हमर बेटी-हमर मान’ अभियान, CM भूपेश ने दी जानकारी
रायपुर। छत्तीसगढ़ सरकार ने राज्य में बेटियों की सुरक्षा के लिए ’हमर बेटी- हमर मान’ अभियान शुरू करने का फैसला किया है। प्रदेश के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने इसकी जानकारी दी । मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने शुक्रवार को अपने ट्वीटर अकाउंट से ट्वीट कर बताया कि छत्तीसगढ़़ सरकार राज्य में बेटियों की सुरक्षा के लिए …
रायपुर। छत्तीसगढ़ सरकार ने राज्य में बेटियों की सुरक्षा के लिए ’हमर बेटी- हमर मान’ अभियान शुरू करने का फैसला किया है। प्रदेश के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने इसकी जानकारी दी ।
मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने शुक्रवार को अपने ट्वीटर अकाउंट से ट्वीट कर बताया कि छत्तीसगढ़़ सरकार राज्य में बेटियों की सुरक्षा के लिए ‘हमर बेटी, हमर मान : हमारी बेटी, हमारा सम्मानः अभियान शुरू करने जा रही है।’
बघेल ने अपने ट्वीट में लिखा है, ‘जिस समाज में बेटियां सुरक्षित और सशक्त हों, वह समाज निरंतर प्रगति के पथ पर अग्रसर होता है। आपके साथ साझा करना चाहूंगा कि बेटियों की सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए छत्तीसगढ़ सरकार ‘हमर बेटी- हमर मान‘ अभियान प्रारंभ करने जा रही है।‘
'हमर बेटी- हमर मान' सिर्फ एक क्रांतिकारी अभियान ही नहीं बल्कि एक ऐसा कदम है जो हमारी बेटियों को आत्म सक्षम बनाएगा।
हम सब एक साथ मिलकर इस अभियान को सफल बनाएँगे, अपनी सामाजिक जिम्मेदारी भी निभाएँगे।#हमर_बेटी_हमर_मान pic.twitter.com/oEMv5QdvfB
— Bhupesh Baghel (@bhupeshbaghel) September 23, 2022
मुख्यमंत्री ने बताया, ‘राज्य की पुलिस की महिला अधिकारी एवं कर्मचारी राज्य के सभी ज़िलों में स्कूल/कॉलेजों में जाकर बेटियों को उनके क़ानूनी अधिकार, गुड टच, बैड टच, छेड़खानी, यौन शोषण, साइबर क्राइम, सोशल मीडिया क्राइम से बचाव और अधिकार जैसी बातों पर मार्गदर्शन और संवाद करेंगी।
उन्होंने बताया कि गर्ल्स स्कूल, कॉलेजों तथा महिलाओं/युवतियों की उपस्थिति वाली प्रमुख जगहों पर पुलिस की स्पेशल महिला पेट्रोलिंग लगाई जाएगी। ‘हमर बेटी- हमर मान‘ हेल्पलाइन के लिए एक मोबाइल नंबर भी जारी किया जाएगा, जिस पर शिकायत करने से प्राथमिकता पर कार्रवाई होगी।‘
उन्होंने बताया, ‘हमने यह भी तय किया है कि महिला संबंधी अपराधों की विवेचना प्राथमिकता के आधार पर महिला विवेचकों से ही कराई जाएगी, साथ ही ऐसे अपराधों की विवेचना निर्धारित समय में पूरी होकर चालान पेश हो जाए, यह सुनिश्चित करने का दायित्व संबंधित पुलिस महानिरीक्षक का होगा।’
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