लूट मार करो या उगाही मुझे बस पैसा चाहिए...कानपुर के ककवन थाने में तैनात पुलिसकर्मियों ने थानेदार पर लगाए गंभीर आरोप

पुलिस कमिश्नर के आदेश पर एडीसीपी पश्चिम कर रहे जांच

लूट मार करो या उगाही मुझे बस पैसा चाहिए...कानपुर के ककवन थाने में तैनात पुलिसकर्मियों ने थानेदार पर लगाए गंभीर आरोप

कानपुर, अमृत विचार। कानपुर पुलिस कमिश्नरेट एक बार फिर अपनी कार्यप्रणाली के चलते सुर्खियों में आ गया है। पश्चिमी जोन के थाना ककवन के थानेदार पर साथी दरोगा और पुलिस कर्मियों ने रिश्वत लेने, मानसिक उत्पीड़न के गंभीर आरोप लगाए हैं। जिसके बाद महकमे में हड़कंप मच गया। 

पुलिस कमिश्नर के आदेश पर एडीसीपी पश्चिम को जांच सौंप दी गई है। दरोगा और पुलिस कर्मियों ने आरोप लगा कि थानेदार कहते हैं कि लूटमार करो या उगाही मुझे बस पैसा चाहिए नहीं दोगे तो साहब से कहकर कार्रवाई करवा दूंगा। इस घटना के बाद महकमे में तरह तरह की चर्चाएं हैं। 

पश्चिम जोन के ककवन थाने में तैनात दरोगा उदयपाल पांडेय, अक्षय गौड़, वरुण कुमार, धीरेंद्र यादव, प्रवीन राव, हेड कां (डाक मुंशी) अल्का, महिला कां पूजा चौधरी और सीसीटीएनएस में तैनात कर्मचारियों ने पुलिस कमिश्नर अखिल कुमार को शिकायती पत्र सौंपा है। शिकायती पत्र में कहा गया कि, थाना प्रभारी बड़े लुटेरे टाइप के हैं। क्षेत्र की जनता इनसे बहुत त्रस्त है। बिना पैसे लिए कोई काम ही नहीं करते हैं। 

साहब जनता को छोड़ दीजिए विभाग भी बहुत त्रस्त है। पत्र में गंभीर आरोप लगाया कि साहब का कहना है, कि क्षेत्र में जाओ लूट करो चाहे उगाही करो मुझे पैसा चाहिए। अगर पैसा नहीं दोगे तो हम अधिकारियों से शिकायत करके तुम लोगाें पर कार्रवाई करा देेंगे। ये भी आरोप लगाया कि जब साहब को पैसा नहीं मिलता है, तो गाली गलौज करते हैं। 

पत्र में गुहार लगाई कि या तो थानाप्रभारी को हटाया जाए या तो उन लोगों किसी अन्य थाने में ट्रांसफर कर दिया जाए। मामले की गंभीरता को देखते शिकायत सुनने के बाद पुलिस कमिश्नर अखिल कुमार ने जांच एडीसीपी पश्चिम विजयेन्द्र द्विवेदी को सौंप दी है। जिसकी प्राथमिक जांच एसीपी बिल्हौर अमर नाथ यादव कर रहे हैं।

16 दिन बाद भी जांच रिपोर्ट नहीं सौंपी 

ककवन थाने में तैनात पुलिस कर्मियों ने पुलिस कमिश्नर से 18 मार्च को शिकायत की थी। जिसके बाद पुलिस कमिश्नर ने जांच बैठा दी थी। निर्देश था कि पत्र प्राप्ति के दो दिन के भीतर जांच रिपोर्ट व गवाह समेत कार्यालय में उपस्थित होकर बताने के लिए कहा गया था। लेकिन 16 दिन बीत जाने के बाद भी एडीसीपी ने अपनी जांच रिपोर्ट नहीं सौंपी है।

जनवरी में तैनाती के बाद बनाने लगे दबाव 

24 जनवरी को दरोगा धर्मेंद्र कुमार को पुलिस लाइन से ककवन थाना प्रभारी बनाया गया था। आरोप लगाया कि तैनाती के बाद से ही थानाप्रभारी चौकी व थाने में तैनात पुलिस कर्मियों और दरोगा पर रुपये देने का दबाव बनाने लगे थे। विरोध पर अभद्रता करते हुए गाली गलौज करते थे। इसकी शिकायत उन्होंने कई बार अधिकारियों से की थी, लेकिन कोई सुनवाई नहीं हुई।

थाना प्रभारी पर गम्भीर आरोप लगे हैं। जिसकी निष्पक्ष जांच एडीसीपी पश्चिम को सौंपी गई है। जांच रिपोर्ट आने के बाद पुलिस कमिश्नर को सौंपी जाएगी। आरोप सही पाए गए तो थानाप्रभारी के खिलाफ विभागीय कार्रवाई की जाएगी।- आरती सिंह, डीसीपी पश्चिम 

मामले की जांच की जा रही है। सभी को बयान और साक्ष्य के लिए बुलाया गया है। जल्द ही जांच रिपोर्ट पुलिस कमिश्नर को सौंप दी जाएगी।- विजयेन्द्र द्विवेदी, एडीसीपी पश्चिम 

मेरे ऊपर लगाए गए सभी आरोप पूरी तरह से झूठे और निराधार है। इसकी निष्पक्ष जांच करा ली जाए।- धर्मेंद्र गुप्ता, थानाप्रभारी ककवन

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