आशनाई में हुई थी सर्राफ की हत्या : एंबुलेंस से ठिकाने लगाया था शव, ब्याज के बदले नाबालिग बहनों पर बना रहा था गलत काम का दबाव

आशनाई में हुई थी सर्राफ की हत्या : एंबुलेंस से ठिकाने लगाया था शव, ब्याज के बदले नाबालिग बहनों पर बना रहा था गलत काम का दबाव

बहनों ने मौसेरे और ममेरे भाइयों की मदद से करायी थी हत्या, वारदात के बाद चोरी किए गए लाखों के जेवर और घटना में प्रयुक्त ईंट व एंबुलेंस बरामद

अमृत विचार लखनऊ : दुबग्गा से लापता सर्राफ रूप नारायण सोनी (65) की हत्या आशनाई के चक्कर में ईंट से सिर कूचकर की गई थी। वारदात के बाद आरोपियों ने शव को एंबुलेंस में रखकर घैला पुल के पास फेंक दिया था। बुधवार को दुबग्गा पुलिस ने घटना का खुलासा करते हुए दो नाबालिग बहनों और तीन भाइयों को गिरफ्तार कर लिया। पुलिस ने आरोपियों के पास से दुकान से चोरी 5.208 किलो चांदी, 143 ग्राम सोने के जेवर, घटना में प्रयुक्त ईंट और एंबुलेंस बरामद की है। पुलिस ने नाबालिग बहनों को बाल सुधार गृह भेजा है।

डीसीपी पश्चिम विश्वजीत श्रीवास्तव ने बताया कि गिरफ्तार आरोपियों में विनय कुमार उर्फ छोटू, उसका भाई गोलू निवासी अतरौली हरदोई और उनका ममेरा भाई माल मसीढ़ा निवासी हंसराज है। तीनों यहां ठाकुरगंज के तहसीनगंज में किराए के मकान में रहते थे। चौक दहला कुआं निवासी सर्राफ रूप नारायण सोनी की दुबग्गा सीते विहार में पवन ज्वैलर्स के नाम से दुकान थी। रूप नारायण ज्वैलरी बिक्री के साथ-साथ जेवर भी गिरवीं रखते थे। पूछताछ में आरोपी विनय कुमार ने बताया कि उसकी दो नाबालिग मौसेरी बहनों ने दिसंबर 2024 में अपनी मां के कुछ जेवर रूप नारायण के यहां गिरवीं रखे थे। गिरवीं जेवर का मासिक ब्याॅज 8000 रुपये दोनों को देना होता था। फरवरी माह का ब्याॅज दोनों बहनों ने नहीं दिया था।

रूप नारायण दोनों पर ब्याॅज देने का दबाव बना रहा था। वह मार्च में कई बार बहनों के घर गया और गाली-गलौज कर धमकी भी दी थी। साथ ही बहनों पर गलत काम करने का दबाव बना रहा था। परेशान होकर दोनों बहनों ने इसकी जानकारी विनय और हंसराज को दी। रूप नारायण से छुटकारा पाने के लिए विनय, हंसराज, गोलू और दोनों बहनों ने उसकी हत्या की पटकथा तैयार की। 18 मार्च को बहनों से फोन कराकर रूप नारायण को सीते विहार स्थित घर पर बुलाया। वहां ईंट से सिर कूचकर रूप नारायण की हत्या कर दी। प्राइवेट एंबुलेंस चालक होने के नाते दोनों ने शव को एंबुलेंस में रखकर देर रात घैला पुल पर पहुंचकर फेंक दिया था।

वहीं, रूप नारायण के घर न लौटने पर बेटों ने खोजबीन शुरू की। मोबाइल स्विच होने पर तलाश करते हुए दुकान पर पहुंचे तो वहां शटर खुला मिला। दुकान में रखा जेवर गायब था। इसके बाद दुबग्गा थाने में चोरी और चौक में पिता की गुमशुदगी दर्ज कराई। इस बीच 23 मार्च को घैला के पास रूप नारायण का शव मिला। मंगलवार को पहचान के बाद पोस्टमार्टम में हत्या की पुष्टि हुई। इसके बाद दुबग्गा इंस्पेक्टर अभिनव कुमार वर्मा, सर्विलांस और क्राइम टीम को लगाया गया। इसके सीसी फुटेज और कॉल डिटेल्स में अहम साक्ष्य मिलने पर विनय, हंसराज, गोलू और दोनों नाबालिग बहनों को पकड़ा गया।

शव ठिकाने लगाने के बाद दुकान में की थी चोरी
इंस्पेक्टर दुबग्गा अभिनव वर्मा ने बताया कि विनय, हंसराज और गोलू ने रूप नारायण की हत्या करने के बाद उसकी जेब से दुकान की चाभी निकाल ली थी। शव को ठिकाने लगाने के बाद तीनों उसकी दुकान पहुंचे। शटर के ताले खोलकर दुकान में जेवर बटोर लिए। वारदात के समय दोनों नाबालिग बहनें दुकान के बाहर खड़े रखवाली कर रखी थी। सीसी फुटेज में पांचों कैद हो गए थे।

काल डिटेल्स से मिले अहम सुराग 

डीसीपी ने बताया कि पोस्टमार्टम में रूप नारायण की हत्या की पुष्टि होने के बाद पुलिस ने कॉल डिटेल्स खंगाली। दो संदिग्ध मोबाइल नंबर मिले, जो नाबालिग बहनों के थे। दोनों से रूप नारायण की एक दिन में करीब 10 बार लंबी बातचीत के साक्ष्य मिले। इसके बाद शक और गहरा गया। महिला दरोगा के माध्यम से दोनों से पूछताछ की गई तो पहले वह टालमटोल करती रहीं। पुलिस ने सीसी कैमरे की फुटेज दिखायी तो दोनों ने सबकुछ उगल दिया।

रंग लायी इनकी मेहनत
गिरफ्तारी की टीम में शामिल पुलिस कर्मियों के उत्साहवर्धन के लिए डीसीपी पश्चिम विश्वजीत श्रीवास्तव ने 25 हजार रुपये इनाम की घोषणा की है। डीसीपी ने टीम में शामिल इंस्पेक्टर दुबग्गा अभिनव कुमार वर्मा, एडिशनल इंस्पेक्टर जय प्रकाश यादव, राजेश कुमार, उपनिरीक्षक योगेंद्र कुमार, संतोष सिंह, जय बहादुर राय, तेज कुमार शुक्ल, महिला दरोगा विनीता, हेड कांस्टेबल शुभान खान, कांस्टेबल अरुण कुमार, विनोद कुमार, सर्विलांस प्रभारी आशीष बालियान और उनकी टीम की प्रशंसा की है।

यह भी पढ़ें:- VDO Exam पास कराकर नियुक्ति के नाम पर ऐंठे 25 लाख,आयोग में मजबूत सेटिंग का झांसा देकर फंसाया फिर Whatsapp पर भेजी फर्जी चयन लिस्ट