कासगंज: साल भर गूंजता रहा नगर पालिका मे भ्रष्टाचार का मुद्दा, नहीं हो सका विकास
गंजडुंडवारा, अमृत विचारः वर्ष 2024 समाप्ति की ओर बढ़ चला है, लेकिन यह वर्ष नगर पालिका परिषद के लिए विवादों भरा रहा। साल भर पालिका मे भ्रष्ट्राचार के मुद्दे की गूंज रही। आरोप प्रत्यारोप का दौर चलता रहा और कई बार बात अनशन तक जा पहुंची। लेकिन इन सब के चलते कस्बा विकास से अछूता रहा। लोग विकास कार्यों का इंतजार करते रहे।
नगर में मार्गों पर पेंचवर्क, पुलिया निर्माण, फुटपाथ निर्माण के अलावा कोई बड़े विकास कार्य नहीं हुए। जो कार्य हुए भी वे मानक विरुद्ध होने के चलते जर्जर होकर दुर्दशा को प्राप्त हो गए। सड़क पर गड्ढे हैं, मूत्रालय जर्जर होने लगा है, नगला भीकन का पिंक शौचालय भी दुर्दशा का शिकार है। विकास का ढिढोरा पीटने वाले जनप्रतिनिधि भी कस्बा वासियों की उम्मीद पर खरे न उतर सके। गोशाला मे 6 गोवंशों की मौत व पुस्तकालय में अव्यवस्थाओं के मुद्दे से पालिका प्रशासन हलकान रहा। पूरा वर्ष ही आपसी बंदरबांट के चलते भ्रष्टाचार की भेंट चढ़ गया।
अनशन तक पहुंची थी नौबत
नगर पालिका में सर्वप्रथम भ्रष्ट्राचार का मुद्दा साल की शुरुआत में बोर्ड बैठक के बहिष्कार से उठा। मानक के विरुद्ध निर्माण, कई वार्डो एवं सभासदों की अनदेखी सहित कई आरोप पालिका प्रशासन पर लगाए गए। शिकायत पर जांच कमेटी का गठन हुआ। कस्बा पहुंची जांच कमेटी ने दो बार सैंपल भी जुटाए।
मुद्दे की गूंज उप मुख्यमंत्री दरबार तक पहुंची। लेकिन कार्रवाई न होते देख बिफरे 11 सभासदों ने अनशन को पालिका परिसर मे चादर बिछा दी, लेकिन यह अनशन शुरू होने से पूर्व ही बंद कमरें में हुए समझौते के कारण भ्रष्ट्राचार मे बंदरबांट तक सिमट कर रह गया। जिसको लेकर कस्बे में विकास के मुद्दे को कुछ हजार रुपयों में बेच देने की चर्चाएं रहीं। जांच में कार्रवाई आज तक न हो सकी। वही साल के अंतिम माह में स्ट्रीट लाइट घोटाले के नाम पर एक करोड़ के भ्रष्टाचार के आरोप भी लग गए।
सफाई कर्मीयो ने भी भरी थी हुंकार
इस वर्ष सफाईकर्मी भी मांगो को लेकर उग्र दिखे। तीन बार अनशन की चेतावनी दी, लेकिन लिखा-पढ़ी में हुए समझौते के बाद भी धोरवा मिला, मांगे नहीं मानी गई। आखिरकार सफाई कर्मी पालिका परिसर मे अनशन पर बैठ गए। कस्बा में कूडे़ के ढेर लगे तो पालिका प्रशासन ने मांग पूरी की। जिसेक बाद हड़ताल खत्म हुई।
कस्बे के विकास हेतु पालिका प्रशासन प्रयासरत है। फंड की कमी के चलते विकास कार्य प्रभावित है। वही कुछ विकास कार्य प्रस्तावित है- सुनील कुमार, ईओ, नगर पालिका परिषद।
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