Kannauj: किशोरी से दुष्कर्म मामला: सहआरोपी नीलू को मिली जमानत, इस वजह से नहीं हो सकी रिहाई...
कन्नौज, अमृत विचार। किशोरी से दुष्कर्म के मामले में मुख्य आरोपी के भाई सहआरोपी पूर्व ब्लाक प्रमुख नीलू यादव को कोर्ट से जमानत मिल गई है लेकिन रिहाई नहीं हो सकी। करीब एक साल पुराने मामले में आरोपी होने से उसकी जमानत अलग से लेनी पड़ेगी।
12 अगस्त को किशोरी से दुष्कर्म के मामले के मुख्य आरोपी पूर्व ब्लाक प्रमुख नवाब सिंह यादव को पुलिस ने गिरफ्तार कर जेल भेज दिया था। पुलिस ने छानबीन कर पीड़िता की बुआ और नवाब के छोटे भाई नीलू यादव को भी सहआरोपी बनाया था। पुलिस के मुताबिक पीड़िता की बुआ ने किशोरी से दुष्कर्म में आरोपी की मदद की थी।
बुआ को 21 अगस्त को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया था। इसके बाद उसके बयान के आधार पर नीलू को भी सहआरोपी बनाया था। नीलू पर घटना के साक्ष्यों को प्रभावित और बुआ को प्रलोभन देने के आरोप थे। पुलिस ने नीलू पर 25 हजार रुपये का इनाम घोषित किया था।
तीन सितंबर को नीलू ने पुलिस को चकमा देकर पॉक्सो एक्ट कोर्ट में सरेंडर कर दिया था। गुरुवार को नीलू की जमानत याचिका पॉक्सो एक्ट कोर्ट में दाखिल की गई। इसमें शुक्रवार को सुनवाई होनी थी।
शासकीय अधिवक्ता नवीन दुबे ने बताया कि शुक्रवार को सुनवाई के बाद नीलू यादव विशेष न्यायाधीश पॉक्सो एक्ट अलका यादव ने जमानत मंजूर कर दी है। इसके लिए 25-25 हजार रुपये के बंध पत्र जमा करने होंगे। एक अन्य मामले में वारंटी होने से नीलू की फिलहाल रिहाई नहीं हो सकेगी।
जमानती धारा पर मिली जमानत
शासकीय अधिवक्ता ने बताया कि नीलू पर भारतीय दंड संहिता की धारा 238 के तहत साक्ष्य विलोपित करने का आरोप है जो कि जमानती धारा है। इसलिए इस पर सुनवाई के बाद जमानत दी गई है। वहीं करीब एक साल पुराने एक भट्टे पर हिस्सेदारी को लेकर हुए विवाद का मामला जिला जज न्यायालय में विचाराधीन होने से फिलहाल वह जेल से बाहर नहीं आ सकेंगे।