कासगंज: रियल टाइम अटेंडेंस व्यवस्था...सुबह से ही शुरू हुई अफसरों की तानाशाही, वीडियो वायरल 

सेवा प्रदाता कर्मचारी निभा रहे अधिकारियों की भूमिका, शिक्षक संगठनों में आक्रोश 

कासगंज: रियल टाइम अटेंडेंस व्यवस्था...सुबह से ही शुरू हुई अफसरों की तानाशाही, वीडियो वायरल 

कासगंज, अमृत विचार। रियल टाइम अटेंडेंस के विरोध के बीच जहां एक और शासन शिक्षकों के प्रति नरम रुख अपना रहा है, वहीं दूसरी तरफ स्थानीय स्तर पर अधिकारी तानाशाही पूर्ण रवैया अपना रहे हैं। शनिवार सुबह से ही अधिकारी स्कूल पहुंचने लगे। शिक्षकों को तरह-तरह की धमकियां देते हुए हाथों से टैबलेट छीन रहे थे। इतना ही नहीं कासगंज विकासखंड क्षेत्र में कुछ सेवा प्रदाता कर्मचारी भी अधिकारियों की भूमिका में नजर आए। वह भी शिक्षकों को डरा धमका रहे हैं।

शिक्षकों ने जब इसकी शिकायत शिक्षक नेताओं से की है तो संगठन के नेताओं में आक्रोश पनप गया है। नेताओं ने ईंट से ईंट बजाकर आंदोलन की चेतावनी दी है। साथ ही अधिकारियों का घेराव करने की योजना तैयार की है। वहीं, अलग-अलग वीडियो वायरल हो रहे हैं। अधिकारियों ने शिक्षक नेताओं से वार्ता करना उचित नहीं समझा है।

सुबह कासगंज विकासखंड के अधिकारी एवं सेवा प्रदाता कंपनी के कर्मचारी क्षेत्र में स्कूलों में पहुंचे गांव अहरौली के प्राथमिक विद्यालय में पहुंचकर कर्मचारी और अधिकारियों ने शिक्षक से जबरन टैबलेट छीन लिया और रियल टाइम अटेंडेंस लगाने की स्वतः कोशिश की। इसका शिक्षकों ने वीडियो बनाना शुरू किया तो अधिकारी और सेवा प्रदाता कंपनी वहां से भागने की कोशिश करते नजर आए।

वीडियो थोड़ी देर में वायरल हो गया। फिर क्या था अन्य शिक्षक साथियों एवं शिक्षक संगठनों के पदाधिकारी में आक्रोश पनप गया। क्षेत्र के ही गांव नदरई के स्कूल पर भी यही आलम था। वहां भी अधिकारियों और सेवा प्रदाता कंपनी के कर्मचारियों ने शिक्षकों से टैबलेट छीनने की कोशिश की। साथ ही कड़ी कार्रवाई की चेतावनी दी। तानाशाही से शिक्षकों में आक्रोश बढ़ रहा है। शिक्षक नेताओं ने जानकारी मिलने पर अधिकारियों से वार्ता करने का प्रयास किया। आरोप है कि अधिकारियों ने फोन उठाने बंद कर दिए हैं।

वहीं, शिक्षकों ने सोशल मीडिया ग्रुपों पर वीडियो वायरल किए हैं। शिक्षक नेताओं ने आंदोलन की योजना बनाई है। चेतावनी दी है कि यदि अधिकारियों ने इसी तरह तानाशाही पूर्ण रवैया अपनाते हुए शिक्षकों पर दबाव बनाया तो आंदोलन किया जाएगा और ईंट से ईंट बजा दी जाएगी। किसी हाल में शिक्षकों का उत्पीड़न बर्दाश्त नहीं किया जाएगा।

इस तरह नरम रूख अपना रहे शासन के अधिकारी 
महानिदेशक स्कूल शिक्षा कंचन वर्मा ने शिक्षकों को समझाया है और उनसे अपील की है कि वह शासन की मंशा के अनुसार कार्य करते हुए पूर्ण सहयोग करें। अधिकारियों को निर्देश दिए हैं कि शिक्षकों और शिक्षक नेताओं से वार्ता करें। उनके साथ मधुर व्यवहार करें और उन्हें उपस्थिति लगाने के लिए प्रेरित करें, लेकिन स्थानीय अफसर तानाशाह बन गए हैं। हर हाल में जबरन उपस्थिति लगवाना चाहते हैं।

ओटीपी बताओ वरना कार्रवाई को तैयार रहो
कुछ स्कूलों में अधिकारियों ने जबरन टैबलेट छीनने के बाद प्रेरणा पोर्टल पर प्रक्रिया पूरी की और शिक्षकों के मोबाइल में जब ओटीपी पहुंचा तो जबरन ओटीपी पूछ लिया। कहा कि ओटीपी बताओ अन्यथा कार्रवाई के लिए तैयार रहो। कुछ स्थानों पर तो शिक्षकों ने ओटीपी बता दिया, लेकिन अधिकांश स्थानों पर शिक्षक अपनी मांगों पर अड़े रहे। यहां से अधिकारियों को वापस लौटना पड़ा।

क्या बोले शिक्षक नेता 
हमने अधिकारियों से फोन पर वार्ता करने का प्रयास किया। स्कूल समय में शिक्षण कार्य कर रहे हैं। इसलिए स्कूल समय में आंदोलन नहीं किया जा सकता। स्कूल समय के उपरांत बैठक कर आंदोलन की रूपरेखा तैयार की जाएगी। फोन पर शिक्षक साथियों से वार्ता हो गई है। यदि इसी तरह अधिकारी मनमानी करते रहे तो उनका घेराव किया जाएगा। किसी भी हाल में शिक्षकों का उत्पीड़न बर्दाश्त नहीं होगा- शुभनेश यादव, जिलाध्यक्ष उत्तर प्रदेशीय  प्राथमिक शिक्षक संघ

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