दिल्ली सरकार के मंत्री सौरभ भारद्वाज ने बाढ़ के पीछे साजिश का लगाया आरोप
नई दिल्ली। दिल्ली के जल मंत्री सौरभ भारद्वाज ने शनिवार को उपराज्यपाल वी.के. सक्सेना को पत्र लिखकर दिल्ली में हाल ही में आई बाढ़ से निपटने पर चिंता व्यक्त की। साथ ही उन्होंने वरिष्ठ अधिकारियों पर संकट के दौरान मंत्रियों द्वारा किए गए जरूरी ' फोन कॉल' और भेजे गए संदेशों को जानबूझकर नजरअंदाज करने का आरोप लगाया।
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संभागीय आयुक्त अश्विनी कुमार सहित वरिष्ठ अधिकारियों ने निर्वाचित प्रतिनिधियों द्वारा उन अधिकारियों को निशाना बनाने पर निराशा व्यक्त की जो शहर में बाढ़ की स्थिति को नियंत्रण में लाने के लिए ‘अथक’ प्रयास कर रहे हैं। संकट के दौरान प्रतिक्रिया और निर्णय लेने को लेकर मंत्रियों और अधिकारियों के बीच टकराव के बीच मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने ट्वीट किया, ‘‘अध्यादेश के कारण दिल्ली के लोग पीड़ित हैं।’’
संविधान के अनुसार, भूमि, कानून-व्यवस्था और पुलिस से संबंधित मामले उपराज्यपाल के अधिकार क्षेत्र में आते हैं, जबकि अन्य दिल्ली सरकार के दायरे में आते हैं। उच्चतम न्यायालय ने हाल ही में एक आदेश जारी कर सेवा विभाग को दिल्ली सरकार के अधीन कर दिया, लेकिन बाद में केंद्र ने एक अध्यादेश जारी कर राष्ट्रीय राजधानी में नौकरशाही का नियंत्रण उपराज्यपाल को दे दिया।
सक्सेना को लिखे अपने पत्र में भारद्वाज ने 13 जुलाई की एक घटना पर प्रकाश डाला, जहां नाला संख्या 12 रेगुलेटर टूटा हुआ था जिसकी वजह से उच्चतम न्यायालय परिसर , राजघाट और आईटीओ सहित राजधानी के मध्य भागों में बाढ़ आई। उन्होंने दावा किया कि सहायता के लिए राष्ट्रीय आपदा प्रतिक्रिया बल (एनडीआरएफ) या सेना की इंजीनियरिंग विंग को बुलाने की उनकी और साथी मंत्री आतिशी की अपील के बावजूद, अधिकारियों ने केवल सिंचाई और बाढ़ नियंत्रण विभाग के संसाधनों पर भरोसा किया।
भारद्वाज ने दावा किया कि इस निर्णय से आवश्यक मरम्मत में देरी हुई और परिणामस्वरूप जल स्तर चिंताजनक दर से बढ़ा। मंत्री ने आरोप लगाया कि मुख्य सचिव नरेश कुमार चुप रहे और बाढ़ नियंत्रण के लिए समर्पित व्हाट्सऐप समूह पर मंत्रियों के संदेशों का जवाब नहीं दिया। भारद्वाज ने अधिकारियों के व्यवहार की आलोचना करते हुए कहा कि उनके कार्य न केवल लापरवाही वाले थे, बल्कि लुटियंस दिल्ली के संवेदनशील इलाकों में बाढ़ लाने और ‘‘उच्चतम न्यायालय को असहज करने की जानबूझकर की गई साजिश प्रतीत होती है।’’
उन्होंने मुख्य सचिव नरेश कुमार, मंडलायुक्त अश्विनी कुमार और सचिव आशीष कुंद्रा के खिलाफ उनकी कथित ‘दिल्ली के लोगों के खिलाफ आपराधिक साजिश’ के लिए कड़ी कार्रवाई का आह्वान किया और प्राकृतिक आपदा के दौरान मंत्रियों के निर्देशों का समय पर पालन न करने पर अधिकारियों की जवाबदेही तय करने की मांग की।
नाले पर लगे रेगुलेटर की मरम्मत करने के लिए राष्ट्रीय आपदा मोचन बल (एनडीआरएफ) को बुलाने के मंत्री के अनुरोध पर, अश्विनी कुमार ने कहा, ‘‘हमें पता होना चाहिए कि कौन सा विभाग क्या करता है, अन्यथा हम काम कैसे कर सकते हैं।’’
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